Papmochani Ekadashi 2024: पापमोचिनी एकादशी, हिन्दू धर्म में एक महत्वपूर्ण व्रत-त्योहार है जो कृष्ण पक्ष की एकादशी के रूप में मनाया जाता है. यह त्योहार हिन्दू पंचांग के अनुसार चैत्र मास के कृष्ण पक्ष में पड़ता है जिस एकादशी को 'पापमोचिनी' के नाम से जाना जाता है, जो अपने भक्तों को पापों से मुक्ति प्रदान करने के लिए जाना जाता है. इस दिन भक्तों को उपवास करना और पूजन करना चाहिए, जिससे उन्हें दिव्य शक्तियों का आनंद और सुख प्राप्त हो. पापमोचिनी एकादशी का महत्व उन पापों को दूर करने के लिए होता है जो भक्तों को अज्ञानता और अन्धविश्वास में डालते हैं. इस दिन विशेष धार्मिक क्रियाएं की जाती हैं जो शुभ फल और मोक्ष के प्राप्ति में सहायक होती हैं. भक्त इस दिन भगवान विष्णु की पूजा, अर्चना, व्रत और ध्यान करते हैं ताकि उन्हें पापों से मुक्ति मिल सके.
अप्रैल 2024 में दो एकादशी तिथि हैं
पापमोचिनी एकादशी:
तिथि: 5 अप्रैल 2024, गुरुवार
पारण का समय: 6 अप्रैल 2024, शुक्रवार सुबह 6:59 बजे से 8:48 बजे तक
कामदा एकादशी:
तिथि: 19 अप्रैल 2024, शुक्रवार
पारण का समय: 20 अप्रैल 2024, शनिवार सुबह 7:25 बजे से 9:14 बजे तक
पूजा विधि: सूर्योदय से पहले स्नान करें और स्वच्छ वस्त्र धारण करें. एक चौकी पर भगवान विष्णु की मूर्ति स्थापित करें. भगवान विष्णु को फल, फूल, मिठाई और दीप अर्पित करें. भगवान विष्णु की आरती करें. व्रत रखने वाले लोगों को दिन भर उपवास करना चाहिए और भगवान विष्णु का नाम जपना चाहिए. अगले दिन सुबह स्नान करने के बाद पारण करें.
व्रत रखने के नियम: व्रत रखने वाले लोगों को दिन भर उपवास करना चाहिए. पानी, फल और दूध का सेवन किया जा सकता है. इस दिन झूठ बोलना, चोरी करना, क्रोध करना और किसी को गाली देना पाप के समान माना जाता है. एकादशी के दिन भगवान विष्णु का ध्यान करना चाहिए.
पारण विधि: अगले दिन सुबह स्नान करें. भगवान विष्णु की पूजा करें. गाय को भोजन कराएं. ब्राह्मणों को भोजन कराएं. इसके बाद पारण करें.
पापमोचिनी एकादशी पापों से मुक्ति के लिए मनाई जाती है. इस दिन भगवान विष्णु की पूजा की जाती है. इस दिन व्रत रखने से पापों से मुक्ति मिलती है और मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं. एकादशी के दौरान व्रत रखने वाले लोगों को सूर्योदय से पहले स्नान करना चाहिए और स्वच्छ वस्त्र धारण करना चाहिए. भगवान विष्णु की पूजा करनी चाहिए और उन्हें फल, फूल, मिठाई और दीप अर्पित करना चाहिए. व्रत रखने वाले लोगों को दिन भर उपवास करना चाहिए और भगवान विष्णु का नाम जपना चाहिए. अगले दिन सुबह स्नान करने के बाद पारण करना चाहिए.
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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं. न्यूज नेशन इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)
Source : News Nation Bureau