Shagun Apshagun: भारतीय सांस्कृतिक की विचारधारा में शगुन (शुभ संकेत) और अपशगुन (अशुभ संकेत) का महत्वपूर्ण स्थान है. इन संकेतों का गहरा संबंध परंपरागत और धार्मिक अनुष्ठानों को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है. ये सदियों पुराने हैं और पीढ़ी दर पीढ़ी लोग इनके बारे में सुनते आ रहे हैं और मानते भी हैं. वैसे ये भी एक तरह का साइंस है जिसके बारे में शगुन शास्त्र में पढ़ने के मिलता है. तो आइए ऐसे ही कुछ शगुन और अपशगुन के बारे में जानते हैं.
1. हाथी का दंत
हाथी, एक पूजनीय पशु, शक्ति और बुद्धिमत्ता का प्रतीक है. हाथी के दंत को घर में रखने से भाग्य और समृद्धि में वृद्धि होती है. वहीं हाथी के दंत का टूटना या क्षतिग्रस्त होना कठिनाईयों की सूचना हो सकता है. इसे त्वरित बदलना या मरम्मत करना अनिवार्य है.
2. कलश
कलश, एक धार्मिक पात्र जिसमें पवित्र वस्त्र भरे जाते हैं, पूर्णता और प्रचुरता का प्रतीक है. एक कलश को घर में रखना आशीर्वाद और सुरक्षा का संकेत करता है. वहीं अगर कलश में पानी गिर जाए या सूख जाए, तो इसे अशुभ माना जाता है. नियमित रूप से इसे पूना करना सकारात्मक ऊर्जा को बनाए रखने के लिए आवश्यक है.
3. सुपारी
किसी भी आयोजन या त्योहार के दौरान सुपारी का दान करना शुभ माना जाता है. यह जीवन के मीठे और कड़वे पहलुओं का प्रतीक है, जो गर्भावस्था में ग्रहण किए जाते हैं. वहीं सूर्यास्त के बाद सुपारी चबाना अशुभ माना जाता है. इसे दिन के समय ही सेवन करना उचित है.
4. काला टीका
एक ब्लैक डॉट के साथ कुंकुम लगाना, विशेषकर धार्मिक आचरणों के दौरान, शुभ माना जाता है. यह दिव्य आशीर्वाद को प्रतिष्ठित करता है. वहीं एक कलंकित या अस्पष्ट काला डॉट अशुभता को ला सकता है. इसे सटीकता के साथ लगाना महत्वपूर्ण है.
5. लाल चूड़ियां
लाल चूड़ियां विवाहित महिलाओं के जीवन और उनकी समृद्धि का प्रतीक होती हैं. इसे पहनना शुभ माना जाता है. वहीं चूड़ियों का टूटना या खो जाना वैवाहिक समन्वय में विघ्न उत्पन्न कर सकता है. इसे सावधानी से संबोधित करना अच्छा है.
6. टूटी हुई चीजें
संपूर्ण चीजें स्थिरता और समरसता को सूचित करती हैं. घरेलू वस्तुओं को अच्छी स्थिति में रखना सकारात्मक ऊर्जा को आकर्षित करता है. वहीं टूटे हुए दर्पण, बर्तन या फर्नीचर को अशुभ माना जाता है. इनका तुरंत मरम्मत या पुनर्निर्माण करवाना चाहिए या बदल देना चाहिए. इनका घर में होना अपशगुन माना जाता है.
7. शव वाला सपना
मृत परिजनों का सपना शुभ माना जाता है. यह माना जाता है कि वे आशीर्वाद सुनाने के लिए आते हैं. वहीं अपने खुद की मौत या शव का सपना अशुभ माना जाता है. नकारात्मक ऊर्जा को दूर करने के लिए यज्ञ करना सुझाया जाता है.
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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं। न्यूज नेशन इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है। इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है।)
Source : News Nation Bureau