कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि पर पड़ने वाला तुलसी पूजन बेहद ही शुभ माना जाता है, कहते हैं इस दिन भगवान विष्णु और माता तुलसी की अराधना करने से जीवन में कोई बाधा उत्पन्न नहीं होती है, जिंदगी खुशहाल बनी रहती है. तुलसी को माता लक्ष्मी का स्वरुप माना गया है, इनका पूजा करने से धन-धान्य में कभी कोई कमी नहीं होती है. तो आइए हम आपको अपने इस लेख में बताएंगे तुलसी पूजन के दौरान कौन-कौन सी गलतियां नहीं करनी चाहिए, जिससे आप किसी धन हानि होने से बच सकते हैं.
तुलसी पूजन करते दौरान रखें इन बातों का ध्यान-
तुलसी पूजन करने के दौरान अगर रविवार का दिन है तो उस दिन तुलसी में जल नहीं चढ़ाना चाहिए.
शाम के समय तुलसी के पौधे को स्पर्श नहीं करना चाहिए, केवल आरती करें और दूर से ही प्रणाम करें.
धार्मिक ग्रंथों के अनुसार तुलसी पूजन करते वक्त केश खुला नहीं रखना चाहिए, केश को हमेशा ढक कर रखें.
तुलसी पूजन के दौरान चढ़ाई गई चुनरी को हम अक्सर पूजा करने के बाद नहीं बदलते हैं,ऐसा करना गलत हैं, इसलिए समयनुसार चुनरी बदलते रहना चाहिए.
तुलसी तोड़ते वक्त इस बात का ध्यान रखें कि तुलसी कभी अपने नाखून से नहीं तोड़ना चाहिए.
तुलसी पूजन करते वक्त किन मंत्र का करें जाप-
तुलसी पूजा के दौरान इस मंत्र का 108 बार जाप करें ये है वो मंत्र वृंदा वृंदावनी विश्वपूजिता विश्वपावनी,पुष्पसारा नंदनीय तुलसी कृष्ण जीवनी,एतनामांष्टक चैव स्त्रोतं नामर्थं संयुतम,य: पठेत तां च सम्पूज्य सौश्रमेघ फलंलभेत.
तुलसी पूजन में क्या लगाएं भोग-
तुलसी पूजन में भगवान को बेर,आंवला, शकरकंद, सीताफल और इसी के साथ भगवान को पंचामृत का भोग लगाएं और उसमें तुलसी का पत्ता अवश्य लगाएं.
Source : News Nation Bureau