Vastu Tips: वास्तुशास्त्र एक प्राचीन विज्ञान है जो भविष्य में होने वाले घर या निर्माण कार्यों को संबंधित भविष्य की उपेक्षा करके निर्माण किया जाता है. इसका मुख्य उद्देश्य यह है कि एक निर्माण को ज्योतिष या तांत्रिक उपाय के अनुसार ठीक से बनाया जाए ताकि उसके निवासी के जीवन में समृद्धि और खुशहाली हो. पड़ोसियों के संबंध में, वास्तुशास्त्र में विशेष ध्यान दिया जाता है कि पड़ोसी भी घर के निर्माण में संबंधित होते हैं. एक समृद्ध और साथीपूर्ण रिश्ता बनाए रखने के लिए उन्हें सही संरचना और उपयुक्त स्थान प्रदान किए जाने चाहिए. उनकी सांस्कृतिक, सामाजिक, और व्यक्तिगत आवश्यकताओं के अनुसार उनके संगठन को वास्तुशास्त्र के तत्वों के आधार पर अनुकूलित किया जाता है. वास्तुशास्त्र के अनुसार, सही और स्थानीय पड़ोसी संबंध न केवल घर की सुरक्षा और सुरक्षा में मदद करता है, बल्कि यह भी समृद्धि और सुख-शांति को बढ़ावा देता है. अच्छे पड़ोसी संबंध घर के वातावरण को भी सकारात्मक बनाए रखते हैं और लोगों के आत्मिक और सामाजिक विकास में मदद करते हैं.
1. दिशा: घर का मुख्य द्वार दक्षिण या पश्चिम दिशा में होने से नकारात्मक ऊर्जा प्रवेश करती है, जिससे झगड़े बढ़ सकते हैं. घर का मुख पूर्व या उत्तर दिशा में होना शुभ माना जाता है, क्योंकि इन दिशाओं से सकारात्मक ऊर्जा प्रवेश करती है.
2. रंग: घर के मुख्य द्वार का रंग हरा, नीला या पीला होना शुभ माना जाता है. इन रंगों का प्रभाव मन को शांत रखने और सकारात्मक ऊर्जा को आकर्षित करने में होता है. घर के अंदर गहरे रंगों का प्रयोग न करें, क्योंकि ये नकारात्मक ऊर्जा को आकर्षित करते हैं.
3. पौधे:
तुलसी: घर के मुख्य द्वार के दोनों तरफ तुलसी का पौधा लगाना शुभ माना जाता है. तुलसी नकारात्मक ऊर्जा को दूर करती है और घर में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह बढ़ाती है.
नीम, चंदन, और तुलसी: घर में नीम, चंदन, और तुलसी के पेड़ लगाने से भी नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है और घर में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह बढ़ता है.
4. वास्तु दोष: वास्तु दोष: घर में वास्तु दोष होने से भी झगड़े बढ़ सकते हैं. वास्तु शास्त्री से सलाह लेकर वास्तु दोषों का निवारण करें.
5. सकारात्मकता: क्रोध, ईर्ष्या, और नकारात्मक विचारों से बचें: क्रोध, ईर्ष्या, और नकारात्मक विचारों से नकारात्मक ऊर्जा उत्पन्न होती है, जिससे झगड़े बढ़ सकते हैं. घर में नियमित रूप से हवन या दीपदान करने से नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है और घर में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह बढ़ता है.
6. संवाद:
पड़ोसी से अच्छे संबंध बनाए रखें: पड़ोसी से अच्छे संबंध बनाए रखने के लिए उनके साथ बातचीत करें और उनकी समस्याओं को समझने का प्रयास करें.
मतभेदों को शांति से सुलझाएं: किसी भी मतभेद को शांति से बातचीत के माध्यम से सुलझाएं.
दूसरों के प्रति प्रेम और सम्मान का भाव रखें: दूसरों के प्रति प्रेम और सम्मान का भाव रखने से झगड़े कम होते हैं.
7. दान:
गरीबों और जरूरतमंदों को दान करें: गरीबों और जरूरतमंदों को दान करने से पुण्य प्राप्त होता है और घर में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह बढ़ता है.
गाय, कौआ, और कुत्ते को भोजन दें: गाय, कौआ, और कुत्ते को भोजन देने से आपके क्रूर ग्रह शांत रहते हैं और इस वजह से आपके आसपास पॉजिटिव एनर्जी बनी रहती है.
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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं. न्यूज नेशन इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)
Source : News Nation Bureau