Vinayaka Chaturthi in Kartik Month: हिंदू धर्म में कार्तिक मास की विनायक चतुर्थी का खास महत्व है. इस दिन गणपति बप्पा की पूजा की जाती है और ये माना जाता है कि उनके आशीर्वाद से हर मनोकामना पूरी होती है. भगवान गणेश बुद्धि और ज्ञान के देवता हैं. पौराणिक ग्रंथों के अनुसार, कार्तिक मास में शुरू किए गए कार्य सफल होते हैं. विनायक चतुर्थी के दिन गणपति की पूजा करके नए कार्यों की शुरुआत करना भी शुभ माना जाता है. बप्पा सभी तरह के विघ्न-बाधाओं को दूर करते हैं. इसलिए, इस दिन उनकी पूजा करने से जीवन में आ रही सभी समस्याओं का समाधान होता है. उनकी पूजा करने से बुद्धि में वृद्धि होती है और ज्ञान प्राप्त होता है और घर में सुख-समृद्धि आती है.
कार्तिक मास की विनायक चतुर्थी कब है? (Vinayaka Chaturthi in Kartik Month)
हर साल कार्तिक माह के शुक्ल चतुर्थी के दिन विनायक चतुर्थी मनायी जाती है, जिसका हिंदू धर्म में बहुत महत्व है. इस साल कार्तिक मास की चतुर्थी तिथि आज रात नवंबर 4 को 11:24 पी एम बजे से प्रारंभ हो रही है जो नवंबर 6 को देर रात 12:16 ए एम बजे समाप्त होगी. विनायक चतुर्थी का व्रत 5 नवंबर को ही रखा जाएगा.
विनायक चतुर्थी पूजा शुभ मुहूर्त (Vinayaka Chaturthi Puja Shubh Muhurat)
5 नवंबर को सुबह 10:59 ए एम बजे से दोपहर 01:10 पी एम बजे तक
कार्तिक मास की विनायक चतुर्थी की पूजा विधि (Vinayaka Chaturthi Puja Vidhi)
मंदिर में सबसे पहले गणपति की मूर्ति स्थापित करनी चाहिए. पहले से ही मंदिर में मूर्ति विराजमान है तो मंदिर को अच्छे से साफ करें और मंदिर को भी साफ करने के बाद उसे पुन: विराजित करें. पूजा के दौरान शंख और घंटे बजाना बेहद शुभ माना जाता है. गणपति के सामने दीपक जलाएं और फिर उन्हे मोदक, लड्डू और अन्य मिठाइयों का भोग लगाएं. गणपति की कथा पढ़ने के बाद मंत्रों का जाप करके अंत में गणपति की आरती करके ये पूजा पूर्ण की जाती है.
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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं. न्यूज नेशन इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)