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नारायण मूर्ति का पोता बना भारत के सबसे कम उम्र का करोड़पति, उपहार में मिले इंफोसिस में 240 करोड़ रुपये के शेयर

इंफोसिस के संस्थापक एनआर नारायण मूर्ति (NR Narayana Murthy) ने अपने चार महीने के पोते एकाग्र रोहन मूर्ति (Ekagrah Rohan Murty) को 240 करोड़ रुपये से अधिक के शेयर उपहार में दिए हैं.

Updated on: 18 Mar 2024, 05:54 PM

नई दिल्ली :

इंफोसिस के संस्थापक एनआर नारायण मूर्ति (NR Narayana Murthy) ने अपने चार महीने के पोते एकाग्र रोहन मूर्ति (Ekagrah Rohan Murty) को 240 करोड़ रुपये से अधिक के शेयर उपहार में दिए हैं, जिससे वह भारत के सबसे कम उम्र के करोड़पति बन गए हैं. एक्सचेंज फाइलिंग से पता चला कि, एकाग्रह ने भारत की दूसरी सबसे बड़ी सूचना प्रौद्योगिकी सेवा कंपनी में 15,00,000 शेयर या 0.04 प्रतिशत हिस्सेदारी हासिल की है. इस अधिग्रहण के बाद, इंफोसिस में मूर्ति की हिस्सेदारी 0.40 प्रतिशत से घटकर 0.36 प्रतिशत या 1.51 करोड़ से अधिक शेयर हो गई. बता दें कि लेन-देन का तरीका "ऑफ़-मार्केट" था.

गौरतलब है कि, नवंबर में मूर्ति और लेखक-फ्लैन्थ्रोफिस्ट सुधा मूर्ति (Sudha Murty) दादा-दादी बन गए, जब उनके बेटे रोहन मूर्ति और पत्नी अपर्णा कृष्णन ने एक बच्चे को जन्म दिया. नवजात शिशु मूर्ति दंपत्ति का तीसरा पोता है, जो अक्षता मूर्ति की दो बेटियों के दादा-दादी हैं. बच्चे का नाम एकाग्र रखा गया, जो एक संस्कृत शब्द है जिसका अर्थ है अटूट ध्यान और दृढ़ संकल्प. कहा जाता है कि, यह परिवार महाभारत में अर्जुन के "एकाग्र" से प्रेरित था.

गौरतलब है कि, इन्फोसिस का सफर 1981 में 250 डॉलर से शुरू हुआ और आज यह भारत की सबसे सम्मानित कंपनियों में से एक है. इन्फोसिस ने कॉर्पोरेट प्रशासन और धन सृजन को लोकतांत्रिक बनाने के लिए एक बिल्कुल नया प्रतिमान बनाया. वहीं सुधा मूर्ति ने $250 के साथ इंफोसिस को आगे बढ़ाया.

25 वर्षों से अधिक समय तक इंफोसिस फाउंडेशन का नेतृत्व करने के बाद, मूर्ति दिसंबर 2021 में अपनी भूमिका से सेवानिवृत्त हो गईं और अपने परिवार के फाउंडेशन के माध्यम से धर्मार्थ प्रयासों पर काम करना जारी रखा. उन्होंने हाल ही में भारत के उच्च सदन राज्यसभा में संसद सदस्य के रूप में शपथ ली.