Advertisment

Apophis: क्या है एपोफिस, उड़े हुए हैं NASA-ISRO वैज्ञानिकों के होश, सॉल्यूशन निकालने में झोंकी पूरी ताकत!

Apophis: एपोफिस को लेकर नासा और इसरो के वैज्ञानिकों के होश उड़े हुए हैं. अगर समय रहते इसका समाधान नहीं खोजा गया तो धरती विनाशलीला देखेगी. आइए जानते हैं कि क्या है एपोफिस.

author-image
Ajay Bhartia
New Update
Asteroid Apophis

Apophis: क्या है एपोफिस, उड़े हुए हैं NASA-ISRO वैज्ञानिकों के होश, सॉल्यूशन निकालने में झोंकी पूरी ताकत!

Advertisment

Apophis: धरती विनाशलीला देखेगी और पूरे एशिया का काम तमाम हो जाएगा. ये कयासें इसलिए लगाई जा रही हैं कि एपोफिस (Apophis) पृथ्वी पर टकरा सकता है. धरती पर मंडराते इस भीषण संकट ने NASA और ISRO वैज्ञानिकों के होश उड़े हुए हैं. उन्होंने इस संकट का सॉल्यूशन निकालने में पूरी ताकत झोंक दी है. ऐसे में आइए जानते हैं कि ये एपोफिस क्या है, जिसको लेकर यहां तक कहा जा रहा है कि जो धरती पर महा तबाही मचाएगा.

ये भी पढ़ें: Big News: मोदी सरकार का बड़ा कमाल, तेल के खेल पर भारत ने किया कब्जा, रचा ऐसा कीर्तिमान कि US-चीन की उड़ी नींद!

एपोफिस को पहली बार 2004 में खोजा गया था, जो एक उल्कापिंड का नाम है. इसकी पृथ्वी से करीबी को काफी बारीकी से ट्रैक किया गया है. इस कारण पृथ्वी पर इसके प्रभाव को लेकर चिंताएं हैं. उल्कापिंड कितना करीब आएगा उसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि पृथ्वी से इससे ज्यादा दूर भारत की जियोस्टेशनरी सैटेलाइट्स हैं. एस्टेरॉयड धरती से तो नहीं टकराएगा, फिर भी इसका असर दिखाई देगा. सवाल ये है कि इस स्टेरॉयड का नाम एपोफिस कैसे पड़ा और क्या इसके धरती से टकराने की कोई संभावना है. 

क्या है एपोफिस? (What is Apophis)

एपोफिस नाम मिस्र के देवता Apep के नाम पर रखा गया है. ये देवता मिस्र में अराजकता का स्वामी माना जाता है. धरती से इसकी टक्कर साल 2068 में हो सकती है, लेकिन उससे पहले ये दो बार धरती के बेहद पास से निकलेगा. एक तो 13 अप्रैल 2029 में, तब ये धरती से केवल 32 हजार किलोमीटर दूर से निकलेगा और इसकी पृथ्वी की तरफ दूसरी यात्रा साल 2036 में होगी.

वैज्ञानिकों के मुताबिक, इसके पृथ्वी से टकराने की संभावना दस लाख में एक से भी कम है, लेकिन इसके असर का खतरा बना हुआ है. वैज्ञानिक इसके टकराव की संभावना बहुत कम बता रहे हैं, लेकिन ये हाल के इतिहास में धरती के इतने करीब से गुजरने वाले सबसे बड़े एस्टेरॉयड में से एक है, इसीलिए इससे होने वाले खतरे का आंकलन किया जा रहा है.

ये भी पढ़ें: IPL 2025: CSK को लेकर विस्फोटक खुलासा, बाकी टीमों में आएगा जलजला, तो आप भी जान लीजिए ये बड़ी खबर!

इस तरह के एस्टेरॉयड के आकार बेहद खतरनाक होते हैं. एपोफिस जैसे एस्टेरॉयड अगर पृथ्वी से टकराते हैं तो आग, सुनामी, विस्फोट और भी कई प्रकार की तबाही लाने में सक्षम होते हैं. भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन यानी ISRO का अंदाजा है कि 1230 फीट बड़ा एस्टेरॉयड अगर धरती से टकराता है तो वो पूरे एशिया को खत्म कर सकता है. 

एस्टेरॉयड की टक्कर वाली जगह से चारों तरफ करीब 20 किलोमीटर के इलाके में सामूहिक संहार हो जाएगा. किसी तरह के जीव-जंतुओं की आबादी नहीं बचेगी. वैज्ञानिकों के मुताबिक पृथ्वी से 32000 किमी ऊपर इस आकार का कोई एस्टेरॉयड कभी भी हमारे ग्रह के इतने करीब नहीं आया है. 

ये भी पढ़ें: IPL 2025: Rinku Singh की तो किस्मत ही पलट गई, 8 साल में बरसी इतनी दौलत कि सोच भी नहीं सकते आप

कितना बड़ा है एस्टेरॉयड?

ये भारत के सबसे बड़े एयर क्राफ्ट कैरियर INS विक्रमादित्य से भी बड़ा है. इसका अनुमानित व्यास 340 से 450 मीटर है. 140 मीटर के व्यास से ऊपर का कोई भी उल्कापिंड पृथ्वी के करीब से गुजरता है तो उसे खतरनाक माना जाता है. ISRO का अनुमान है कि 300 मीटर से बड़ा उल्कापिंड एक 'महाद्वीप में तबाही' ला सकता है. 5 लाख साल पहले महाराष्ट्र के लोनार में एक उल्कापिंड गिरा था. आज वहां एक वर्ग किमी से ज्यादा बड़ी झील मौजूद है. यानी धरती के लिए सबसे बड़ा खतरा अंतरिक्ष में मौजूद उल्कापिंड हैं. 

धरती और मानवता को इन उल्कापिंडों से बचाने के लिए अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने साल 2021 में डार्ट मिशन लॉन्च किया था. डार्ट का मतलब, डबल एस्टेरॉयड रीडायरेक्शन टेस्ट है. इस मिशन के जरिए एस्टेरॉयड का रास्ता मोड़ने का टेस्ट किया गया, जो कामयाब रहा.

नासा ने इसे लेकर एक वीडियो भी जारी किया था, जिसमें दिखाया गया कि अंतरिक्षयान किस तरह उल्कापिंड से टकराया. इसके बाद नासा के वैज्ञानिक मिशन की सफलता को लेकर जश्न मनाते भी दिख रहे थे.  यानी अंतरिक्ष से आ रहे किसी भी संभावित खतरे को टालने की तैयारी भी शुरू हो चुकी है, ताकि पृथ्वी को महाविनाश के खतरे से बचाया जा सके.

ये भी पढ़ें: Big News: बांग्लादेश में हिंदुओं पर आफत, चमड़ी उतार देने तक धमकी दी जारी, हैवानियत के गवाह हैं ये वीडियो!

isro NASA Explainer Apophis Asteroid Asteroid 99942 Apophis
Advertisment
Advertisment
Advertisment