UP 10 Seats By Elections: लोकसभा चुनाव 2024 बड़ा ही दिलचस्प रहा. भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) नेतृत्व वाले नेशनल डेमोक्रेटिक अलायंस (एनडीए) और कांग्रेस के इंडिया गठबंधन के बीच जबरदस्त मुकाबला खासकर उत्तर प्रदेश में दिखने को मिला. अब एक फिर प्रदेश में 10 विधानसभा सीटों के लिए उपचुनाव होने वाले हैं. ऐसे में यहां एनडीए और इंडिया गठबंधनों में फिर टक्कर होगी, कौन मारेगा बाजी और जानिए किस ओर इशारा कर रहे समीकरण. हालांकि अभी तक चुनाव आयोग की ओर से उपचुनाव की तारीख का ऐलान नहीं किया गया है.
मिलकर चुनाव लड़ेंगी SP-कांग्रेस
उत्तर प्रदेश लोकसभा चुनाव 2024 में इंडिया ब्लॉक का काफी अच्छा प्रदर्शन किया. गठबंधन ने इस बार कमाल कर दिया और बीजेपी के खिलाफ सीटों के लिहाज से अच्छी खासी बढ़त हासिल की. इस प्रदर्शन से समाजवादी पार्टी (सपा) और कांग्रेस का उत्साह बढ़ा हुआ है. दोनों दलों को उम्मीद है कि उपचुनाव में भी अखिलेश यादव और राहुल गांधी की जोड़ी का कमाल दिखेगा, इसलिए समाजवादी पार्टी और कांग्रेस ने घोषणा की है कि वे इंडिया ब्लॉक के तहत उत्तर प्रदेश विधानसभा उपचुनाव में एक साथ लड़ेंगे.
बीजेपी पर होगा वापसी का दबाव
प्रदेश के लोकसभा चुनाव में बीजेपी का प्रदर्शन उतना अच्छा नहीं रहा, जिसकी पार्टी ने उम्मीद की थी. 43 सीटें जीतकर इंडिया ब्लॉक ने उसके खेमे में घमासान मचा दिया. बीजेपी के सामने ये चिंता है कि अगर लोकसभा चुनाव 2024 में जिस तरह का परिणाम रहा है, अगर उसकी पुनरावृत्ति उप चुनाव में हो जाए तो पार्टी के मनोबल पर इसका गहरा असर पड़ेगा. ऐसे में सत्तारूढ़ दल बीजेपी पर अपनी बढ़त वापस पाने का दबाव है. इसलिए बीजेपी के नेतृत्व वाले गठबंधन एनडीए ने भी अपनी तैयारी शुरू कर दी है.
किस वजह से खाली हुई हैं ये सीटें
2024 के लोकसभा चुनावों में इंडिया ब्लॉक ने राज्य की 80 में से 43 सीटें जीतीं, जिसमें 37 सीटें समाजवादी पार्टी (SP) और छह सीटें कांग्रेस के खाते में गईं. सपा प्रमुख अखिलेश यादव सहित 9 विधानसभा सदस्यों के लोकसभा के लिए चुने जाने के बाद सीटें खाली हो गई थीं. एक अन्य सीट कानपुर के सीसामऊ से सपा विधायक इरफान सोलंकी को एक क्रिमिनल मामले में जेल से सजा सुनाए जाने के बाद अयोग्य घोषित होने से खाली हुई है. इस तरह यूपी में कुल 10 विधानसभा सीटों पर उपचुनाव होंगे.
एनडीए के जो विधायक लोकसभा के लिए चुने गए हैं वे हैं--
1 - चंदन चौहान (राष्ट्रीय लोकदल)
2 - अतुल गर्ग (बीजेपी)
3- अनूप वाल्मिकी (बीजेपी)
4- प्रवीण पटेल (बीजेपी)
5- विनोद कुमार बिन <निर्बल इंडियन शोषित हमारा आम दल (निषाद)>
वहीं, सपा के जो विधायक लोकसभा के लिए चुने गए हैं वे हैं--
6- अखिलेश यादव (सपा)
7- जियाउर्रहमान (सपा)
8- लालजी वर्मा (सपा)
9- अवधेश प्रसाद (सपा)
क्या थी इन सीटों की स्थिति
खाली हुई 10 विधानसभा सीटों की स्थिति को देखें तो 2022 के उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में इनमें से 5 सीटें सपा ने जीती थीं जबकि 1 सीट राष्ट्रीय लोक दल (आरएलडी) को मिली थी. तब आरएलडी और सपा ने गठबंधन में चुनाव लड़ा था, लेकिन अब आरएलडी एनडीए का हिस्सा है. वहीं तीन सीटें बीजेपी के खाते में आई थीं और एक सीट उसके सहयोगी पार्टी निषाद पार्टी को मिली थी. ऐसे में आप समझ ही सकते हैं कि इन सीटों के समीकरण किस ओर इशारा कर रहे हैं. हालांकि 2022 चुनाव के लिहाज से देखें तो सपा का पलड़ा ही भारी दिखता है.
योगी सरकार पर पड़ेगा असर?
अब सवाल उठता है कि उपचुनाव के नतीजे से क्या योगी सरकार पर असर पड़ेगा. इसका जवाब ये है कि नतीजों का बीजेपी पर कुछ असर नहीं पड़ेगा. उसके पास बहुमत का आंकड़ा बना रहेगा.
यूपी विधानसभा की वर्तमान स्थिति क्या
वर्तमान में, यूपी विधानसभा की वेबसाइट के अनुसार 403 सदस्यीय सदन में बीजेपी के पास 249, उसकी सहयोगी अपना दल (एस) के पास 13, आरएलडी के पास 8, सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के पास 6 और निर्बल इंडियन शोषित हमारा आम दल (NISHAD) के 5 सदस्य हैं. सपा के 103 और कांग्रेस के दो सदस्य हैं. इसके अलावा जनसत्ता दल (लोकतांत्रिक) के 2 और बीएसपी के 1 सदस्य हैं. 2022 के यूपी विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने अपने सहयोगियों के साथ कुल 273 सीटें जीती थीं.
लोकसभा चुनाव के साथ हुए 4 विधानसभा क्षेत्रों के उप-चुनाव में 2-2 सीटें समाजवादी और बीजेपी के खाते में आई हैं, हालांकि अभी तक इन विधायकों ने शपथ नहीं ली है.
लोकसभा चुनाव 2024 में पार्टियों का प्रदर्शन
2024 के लोकसभा चुनावों में इंडिया अलायंस ने राज्य की 80 में से 43 सीटें जीतीं, जिसमें 37 सीटें एसपी और छह सीटें कांग्रेस के खाते में गईं. बीजेपी ने 33 सीटें जीतीं, जबकि उसकी सहयोगी आरएलडी को 2 और अपना दल (एस) को 1 सीट मिली. बीएसपी का खाता नहीं खुला. बीजेपी और उसके सहयोगियों ने यूपी में 2014 के लोकसभा चुनाव में 73 और 2019 में 64 सीटें जीती थीं.
10 सीटों उपचुनाव, जुटे दल, हो रही सियासत
उपचुनाव को लेकर बीजेपी, सपा, कांग्रेस और बीएसपी समेत सभी दलों ने कमर कस ली है. वे पूरजोर से तैयारियों में जुट गए हैं. चूंकि नतीजों से योगी सरकार के बहुमत पर कोई असर नहीं पड़ेगा. ऐसे में कहा जा सकता है कि ये चुनाव मनोबल को बूस्ट करने वाला होगा, जिसके नतीजों का इंडिया ब्लॉक और एनडीए गठबंधन के मनोबल पर असर पड़ेगा. लोकसभा चुनाव के बाद बीजेपी को कोई और नुकसान विपक्षी सपा और कांग्रेस को और मजबूत करेगा. उनके आत्मविश्वास में जबरदस्त इजाफा होगा.
सपा और कांग्रेस ने उम्मीद जताई है कि वे उपचुनाव में भी अपनी जीत का सिलसिला जारी रखेंगे. वहीं सपा नेता राजेंद्र चौधरी ने कहा कि सभी रिक्त सीटों पर उपचुनाव की तैयारी शुरू कर दी गई है और हम कांग्रेस पार्टी के साथ गठबंधन करके चुनाव लड़ेंगे. पार्टी कार्यकर्ता पूरी ताकत लगाएं और जीतें. इस बार अच्छे प्रदर्शन का दबाव बीजेपी पर जरूर होगा, लेकिन पार्टी ने विपक्ष से निपटने के लिए कुछ खास प्लानिंग की है. पार्टी नेताओं का कहना है कि NDA पूरी ताकत के साथ विधानसभा उपचुनाव लड़ेगी. कहीं कोई दबाव नहीं है.
Source : News Nation Bureau