भारतीय क्रिकेट टीम वन डे और टी20 सीरीज के बाद अब ऑस्ट्रेलिया से उसी की जमीन पर अब टेस्ट सीरीज में लोहा लेने के लिए तैयार है. चार टेस्ट मैचों की सीरीज का पहला मैच 17 दिसंबर से शुरू हो रहा है, जो पिंक बॉल से दिन और रात में खेला जाएगा. इस बीच अब दोनों टीमें एक दूसरे के खिलाफ रणनीति बनाने में जुटी हैं. इस बीच ऑस्ट्रेलिया के तेज गेंदबाज जोश हेजलवुड ने कहा है कि उनकी टीम चार मैचों की आगामी टेस्ट सीरीज में भारतीय गेंदबाजों को लंबे समय तक मैदान पर रखने की कोशिश करेगी, ताकि बाद के मैचों के लिए उन्हें थकाया जा सके, जैसा कि मेजबान टीम को 2018-19 सीरीज के दौरान भारतीय टीम के खिलाफ झेलना पड़ा था. पिछले दौरे पर पहले दो टेस्ट में सामान्य गति देखने को मिली थी और टीम ने आठ पारियों में केवल दो ही बार 300 या उससे ज्यादा का स्कोर किया था. लेकिन अंतिम दो टेस्ट आस्ट्रेलियाई टीम के लिए किसी बुरे सपने से कम नहीं था और मेलबर्न में तीसरे टेस्ट में भारतीय टीम ने शानदार जीत दर्ज की थी. भारतीय टीम ने पहली बार आस्ट्रेलियाई धरती पर टेस्ट सीरीज जीती थी.
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जोश हेजलवुड ने कहा कि मुझे लगता है कि आपने जो देखा, वह यह था कि गेंदबाजों को पारी और चेतेश्वर पुजारा के बीच पर्याप्त आराम नहीं मिल रहा था. चेतेश्वर पुजारा ने बहुत गेंदें खेली और मुझे लगता है कि एक बल्लेबाज का लंबी सीरीज में यही लक्ष्य होता है कि वह रन बनाए और टेस्ट मैच जीते. उन्होंने कहा, उनका लक्ष्य होता है कि वे लंबे समय तक मुख्य तेज गेंदबाजी आक्रमण को मैदान पर रखे. इससे उन्हें सीरीज के बाद के मैचों में फायदा मिलता है और ठीक ऐसा ही पिछली बार भी हुआ था. मेलबर्न टेस्ट की पहली पारी में भारतीय बल्लेबाजों ने 169.4 ओवर तक बल्लेबाजी की थी और भारत ने सात विकेट पर 443 रन बनाकर पारी घोषित कर दी थी. मिशेक स्टार्क ने 28 ओवर, हेजलवुड ने 31.4 ओवर, नाथन लियोन ने 48 ओवर और पैट कमिंस ने 34 ओवर की गेंदबाजी की थी.
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सिडनी में खेले गए चौथे और अंतिम टेस्ट में आस्ट्रेलिया के गेंदबाजों ने 167.2 ओवर फेंके थे और भारत ने पहली पारी में सात विकेट पर 622 रन बनाकर पारी घोषित कर दी थी. जोश हेजलवुड ने कहा, उम्मीद है कि इस बार हमें उम्मीद स्विंग मिल सकती है. इससे हम भारतीयों को अधिकतर समय तक मैदान से ज्यादा ज्यादा समय तक दूर रख सकते है, ताकि बाद के मैचों में हमें इसका फायदा मिल सके. जोश हेजलवुड ने पहले वनडे में शॉट गेंदों से तीन विकेट चटकाए थे और अब उनका कहना है कि आस्ट्रेलिया की विकेट पर न केवल उछाल और गति मिलती है बल्कि यह आमतौर पर विकेट समय-समय पर काफी सपाट भी हो सकते हैं.
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उन्होंने कहा, मुझे लगता है कि अलग-अलग समय पर हम शॉर्ट बॉल को एक रणनीति के रूप में इस्तेमाल करेंगे. बाउंसर रणनीति यहां रहने के लिए है. यह खेल का एक हिस्सा है. यह निश्चित रूप से स्विंग वाला है. यह शायद एक रणनीति है. उछाल और गति के साथ हमारे विकेट अन्य देशों की तुलना में अलग है. तेज गेंदबाज ने कहा, विकेट समय-समय पर काफी सपाट भी हो सकते हैं. इसलिए, अगर हमें फ्रंट फुट पर परिणाम नहीं मिल रहे हैं, तो हम बाउंसर और लेग-साइड फील्ड के साथ अलग-अलग समय पर बल्लेबाजों को चुनौती देंगे. यह हमेशा से गेम का हिस्सा रहा है. शायद दोनों टीमों के लिए.
Source : IANS