सर्वोच्च न्यायालय (Supreme Court) ने बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली (Sourav Ganguly) और सचिव जय शाह (Jay Shah) को बड़ी राहत दी है. सुप्रीम कोर्ट ने इन दोनों को ऑफिसरों से जुड़े मामले में राहत दी है. इतना ही नहीं सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए बीसीसीआई (BCCI) से संविधान के संशोधन (Amendment) की भी मंजूरी दे दी है. आपको बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने बीसीसीआई की ही पिटीशन पर सुनवाई करते हुए कूलिंग ऑफ पीरियड (Cooling Off Period) से जुड़े संविधान में संशोधन की मंजूरी दी है. सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से साफ हो गया कि सौरव गांगुली और जय शाह के पद पर कोई संकट नहीं है.
सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसले में कहा कि बीसीसीआई के एक कार्यकाल के बाद कूलिंग ऑफ पीरियड की ज़रूरत नहीं है, लेकिन दो कार्यकाल के बाद ऐसा करना होगा. सुप्रीम कोर्ट के फैसले से साफ है कि सौरव गांगुली और जय शाह आने वाले तीन साल तक अपने पद पर बरकरार रह सकते हैं. आपको बता दें कि बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली और सचिव जय शाह का कार्यकाल अक्टूबर 2022 में खत्म होने वाला था. जिसकी वजह से बीसीसीआई ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था. इतनी ही नहीं बीसीसीआई ने इस मामले से जुड़ी याचिका पर जल्द सुनवाई की अपील की थी.
बीसीसीआई उपाध्यक्ष राजीव शुक्ला ने सर्वोच्च न्यायालय के फैसले का स्वागत किया है. उन्होंने कहा कि स्वागत योग्य निर्णय. ये संशोधन बीसीसीआई की एजीएम में सर्वसम्मति से पारित किए गए थे और हम इन पर विचार करने के लिए सुप्रीम कोर्ट गए थे. उन्होंने 2-3 संशोधनों को स्वीकार किया जो बीसीसीआई के सुचारू कामकाज के साथ-साथ वरिष्ठ लोगों के अनुभव को सुनिश्चित करेंगे जो बीसीसीआई को कैसे चलाना समझते हैं.
यह भी पढ़ें: T20 World Cup के लिए ऑस्ट्रेलिया ने लॉन्च की नई जर्सी, तीन खिलाड़ियों ने संकट में डाला!
Welcome decision. These amendments had been passed unanimously in AGM of BCCI & we had gone to the SC to consider these. They accepted 2-3 amendments which will ensure smooth functioning of BCCI as well as the experience of senior people who understand how to run BCCI: VP, BCCI https://t.co/T6VsRukY4Y pic.twitter.com/kNEC0XTT3A
— ANI (@ANI) September 14, 2022
सुप्रीम कोर्ट ने कही ये बात
इस मामले पर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि प्रथम दृष्टया हमारा मानना है कि राज्य एसोसिएशन में एक कार्यकाल (3 साल) के बाद BCCI में एक कार्यकाल के लिए कोई कूलिंग ऑफ अवधि की आवश्यकता नहीं है. लेकिन राज्य एसोसिएशन या बीसीसीआई में दो कार्यकाल के बाद कूलिंग ऑफ को रखना होगा. सुप्रीम कोर्ट ने आगे कहा कि उस व्यक्ति में कोई समस्या नहीं है जिसने राज्य में या बीसीसीआई में लगातार 3 साल के दो कार्यकाल बिताए हों.