आईपीएल 2022 (IPL 2022) के लिए सभी फ्रेंचाइजियों (Franchisees) ने खिलाड़ियों पर दिल खोल कर पैसा लुटाई हैं. आईपीएल 2022 के लिए दसो टीमों ने 203 खिलाड़ियों को खरीदा. इनमें 66 विदेशी खिलाड़ी शामिल हैं. मेगा ऑक्शन (Mega Auction) में सभी टीमों ने कुल 5 अरब 49 करोड़ 70 लाख रुपए खर्च किए हैं. कई युवा खिलाड़ी करोड़पति बन गए तो वहीं कुछ खिलाड़ियों को मायूस होना पड़ा. आज हम आपको बताएंगे कि जिन खिलाड़ियों को करोड़ों रुपए में खरीदा गया है, उनको पूरा पैसा नहीं मिलता है. अब आप सोच रहे होंगे कि ऐसा क्यों, तो हम आपको बताते हैं इसकी वजह.
दरअसल, आईपीएल मेगा ऑक्शन (IPL Mega Auction) में नीलामी के दौरान बोली लगाई जाने वाले अमाउंट और खिलाड़ियों को मिलने वाले पैसे में फर्क होता है. किसी भी खिलाड़ी जिस रकम में खरीदा जाता है, उस खिलाड़ी को उतनी रकम अदा नहीं की जाती है. अगर हम भारतीय खिलाड़ियों (Indians Player) की बात करें तो नीलामी में बिकने वाले देसी खिलाड़ियों को उनकी सैलरी से 10 फीसदी टीडीएस (TDS) काटा जाता है.
यह भी पढ़ें: IPL 2022: एमएस धोनी की नाराजगी से सुरेश रैना का करियर खत्म?
आपको बता दें कि इनकम टैक्स (Income Tax) के नियम के अनुसार टीम खिलाड़ियों को पैसे देने से पहले टीडीएस काटती है. भारतीय खिलाड़ियों से कुल बोली राशि का 10% टीडीएस लिया जाता है. इसके बाद प्लेयर्स को आईटीआर फाइल करना होता है. टीडीएस के बाद, खिलाड़ियों को शुद्ध आय के आधार पर कर का भुगतान करना पड़ता है. वहीं विदेशी खिलाड़ियों को 20 फीसदी टीडीएस देना होता है. टीडीएस कटने के बाद विदेशी खिलाड़ी बाकी राशि अपने देश ले जाते हैं.