दुनिया के महानतम फुटबॉलर डिएगो माराडोना का बुधवार को निधन हो गया. अर्जेंटीना के रहने वाले माराडोना अपने जमाने के दिग्गज फुटबॉलर थे. उनकी मौत की जानकारी अर्जेंटीना फुटबॉल एसोसिएशन ने दी. माराडोना का निधन दिल का दौरा पड़ने से हुआ है. वो लंबे समय से बीमार चल रहे और बुधवार को 60 वर्ष की उम्र में उन्होंने आखिरी सांस ली. अब से लगभग 15 दिनों पहले माराडोना को ब्रेन में क्लॉट की वजह से सर्जरी करवानी पड़ी थी.
आपको बता दें कि डिएगो माराडोना एक ओर जहां मैदान में अपने मजबूत पैरों के दम पर एक बेहतरीन फुटबॉलर रहे तो, वहीं दूसरी तरफ मैदान के बाहर वो कई बार विवादों का शिकार हुए जिसकी वजह से वो बदनाम भी हुए. माराडोना को शराब और नशे की लत पड़ गई थी जिसकी वजह से महज 60 साल में ही उन्होंने अपने जीवन की आखिरी सांसे लीं. उनके निधन के बाद लोगों ने उन्हें श्रद्धांजलि देनी भी शुरू कर दी है.
My hero no more ..my mad genius rest in peace ..I watched football for you.. pic.twitter.com/JhqFffD2vr
— Sourav Ganguly (@SGanguly99) November 25, 2020
टीम इंडिया के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली ने ट्वीट किया कि मेरे हीरो नहीं रहे. मैंने आपके लिए फुटबॉल देखा. वहीं, ब्राजील के महान फुटबॉलर पेले ने कहा कि उम्मीद है कि हम आसमान में साथ फुटबॉल खेलेंगे.
डिएगो मैराडोना ने 1986 के वर्ल्ड कप को मिलाकर कुछ चार FIFA वर्ल्ड कप टूर्नामेंट खेले थे. दुनिया के महानतम फुटबॉलरों में शुमार मैराडोना ने बोका जूनियर्स, नपोली, बार्सिलोना जैसे क्लब से फुटबॉल खेला था. मैराडोना ने अर्जेंटीना की ओर से अपने अंतरराष्ट्रीय करियर में कुल 91 मैच खेले और 34 गोल दागे. अर्जेंटिनोस जूनियर के साथ मैराडोना ने 16 साल की उम्र में अपना प्रोफेशनल करियर शुरू किया था और बाद में सबसे महान फुटबॉलर बन गए.
फुटबॉल से संन्यास लेने के बाद मैराडोना नशे की गिरफ्त में चले गए. मैराडोना की क्यूबा के पूर्व राष्ट्रपति फिडेल कास्त्रो से दोस्ती मशहूर थी और मुश्किल समय में कास्त्रा ने मैराडोना की काफी मदद भी की थी. कास्त्रो के निधन पर मैराडोना ने उन्हें पिता समान बताया था.
Source : News Nation Bureau