भारत की दिग्गज मुक्केबाज एमसी मैरी कॉम ने विश्व महिला मुक्केबाजी चैम्पियनशिप के 48 किलोग्राम भारवर्ग के फाइनल में जीत का परचम लहराया. यूक्रेन की हन्ना ओकोता को हराकर दिग्गज बॉक्सर ने वर्ल्ड रेकॉर्ड छठी बार महिला विश्व कप का खिताब अपने नाम किया. कॉम ने फाइनल में यूक्रेन की हना ओखोटा को 5-0 से मात देते हुए स्वर्ण पदक अपने नाम किया. मैरी कॉम का यह छठा विश्व चैम्पियनशिप खिताब है तो वहीं विश्व चैम्पियनशिप में कुल आठवां पदक अपने नाम किया है.
ऐतिहासिक जीत के बाद मेरी कॉम ने कहा कि वह यह जीत भारत को समर्पित करती है.
I would like to dedicate this win to my country: Boxer Mary Kom after winning gold in Women's World Boxing Championships against Hanna Okhota pic.twitter.com/XJEFlD77Bd
— ANI (@ANI) November 24, 2018
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यह मैरी कॉम का विश्व चैम्पियनशिप में छठा स्वर्ण और कुल आठवां पदक है. मैरी कॉम विश्व चैम्पियनशिप में छह स्वर्ण पदक जीतने वाली पहली महिला मुक्केबाज बन गई हैं. उनसे पहले आयरलैंड की कैटी टेलर ने ने 60 किलोग्राम भारवर्ग में 2006 से 2016 के बीच पांच स्वर्ण पदक अपने नाम किए थे. उनके नाम एक कांस्य पदक भी है. यही नहीं, मैरी विश्व चैम्पियनशिप (महिला एवं पुरुष) में सबसे अधिक पदक भी जीतने वाली खिलाड़ी बन गए हैं. मैरी कॉम छह स्वर्ण और एक रजत जीत कर क्यूबा के फेलिक्स सेवोन (91 किलोग्राम भारवर्ग) की बराबरी की. फेलिक्स ने 1986 से 1999 के बीच छह स्वर्ण और एक रजत पदक जीता था.
मैरी कॉम इस जीत के बाद भावुक हो गईं. भावुक मैरी ने कहा, 'मैं इस जीत के लिए अपने सभी प्रशंसकों का शुक्रिया अदा करती हूं, जो मुझे यहां समर्थन करने के लिए आए. मैं आप सभी की तहेदिल से शुक्रगुजार हूं. मेरे लिए यह महान पल है.'
पहले राउंड में दोनों खिलाड़ी सावधानी से एक दूसरे खेल को परख रहीं थीं और इसलिए ज्यादा आक्रमण नहीं कर रहीं थीं. दोनों ने अपने राइट पंच का अच्छा इस्तेमाल किया. मैरी ने कुछ पंच मारे, जिनमें से कुछ अच्छे सही निशाने पर लगे. इस बीच, हालांकि हना ने भी अपने राइट जैब का अच्छा उपयोग किया लेकिन मैरी कॉम अपनी फुर्ती से उनके अधिकतर पंचों को नाकाम करने में सफल रहीं.
दूसरे राउंड में दोनों ने आक्रामकता दिखाई और राइट जैब के साथ फिस्ट के संयोजन से हावी होने की कोशिश की. रणनीति दोनों खिलाड़ियों को एक जैसी थी. शुरुआत में हना ने अच्छे पंच मारे जो सटीक रहे. हालांकि दूसरे राउंड के अंत में मैरी कॉम ने दूरी बनाते हुए अपने लिए मौके बनाए और फिर समय पर पंच मार अंक बटोरे. तीसरे राउंड की शुरुआती एक मिनट में मैरी ने राइट और लेफ्ट जैब के संयोजन से तीन-चार अच्छे पंच स्कोरिंग एरिया में मार जजों को प्रभावित किया लेकिन यहां से हना बेहद आक्रामक हो गईं और मैरी को उन्हें संभालना थोड़ा मुश्किल हो गया. अनुभवी मैरी ने धैर्य बनाए रखा और जब हना लापरवाह दिखीं तब पंच मार अंक बटोरे.
Source : IANS