olympics gold medals: पेरिस ओलंपिक्स अब अपने अंतिम पड़ाव पर है. भारत अब तक केवल पांच मेडल हासिल कर पाया है. वहीं इसमें से एक भी गोल्ड मेडल नहीं है. बीते साल टोक्यो ओलंपिक में भारत ने जैवलिन थ्रो में स्वर्ण पदक हासिल किया था. नीरज चोपड़ा ने ये चमत्कार करके दिखाया था. इस बार वे भी गोल्ड मेडल पाने से चूक गए. उन्हें सिल्वर मेडल से ही संतोष करना पड़ा है. हर ओलंपिक में हमारे के लिए गोल्ड जीतना एक बड़े सपने की तरह हो चुका है. 144 करोड़ की जनसंख्या वाले देश में गोल्ड मेडल का अकाल है.अब तक हुए ओलंपिक में भारत सिर्फ 10 गोल्ड मेडल ही हासिल कर पाया है. वहीं 32 करोड़ की जनसंख्या वाला अमेरिका अब तक ओलंपिक के इतिहास में 1103 गोल्ड मेडल पा चुका है. पेरिस ओलंपिक में वह अब तक 33 गोल्ड मेडल हासिब कर चुका है.
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इस अमेरिकी खिलाड़ी ने भारत के ज्यादा मेडल हासिल किए
आपकों बता दें कि अमेरिका एक ऐसा खिलाड़ी है, जिसने अकेले भारत से अधिक गोल्ड मेडल पाए हैं. इसका नाम है माइकल फिलिप. इसने अब तक के विभिन्न ओलंपिक में 23 गोल्ड मेडल हासिल किए हैं. इस खिलाड़ी ने बीजिंग ओलंपिक में एक साथ आठ गोल्ड मेडल स्वीमिंग में हासिल किए थे. वहीं रियो ओलंपिक में 4 गोल्ड मेडल पाए थे.
जापान और जर्मनी सबसे आगे
अमेरिका को छोड़कर अगर अन्य देशों की बात भी जाए तो जापान की जनसंख्या मात्र 12 करोड़ के आसपास है. इसके पास अब तक के ओलंपिक में गोल्ड मेडल की संख्या 185 है. इस बार पेरिस ओलंपिक में जापान ने 16 गोल्ड मेडल हासिल किए हैं. वहीं जर्मनी की बात की जाए तो इसकी जनसंख्या 8 करोड़ के आसपास है. यह अब तक 438 गोल्ड मेडल पा चुका है. इस बार उसने 12 स्वर्ण पदक हासिल किए हैं. वहीं हमारे पड़ोसी देश चीन की बात की जाए तो उसने इस बार अमेरिका की बराबरी कर रखी है. पेरिस ओलंपिक में उसने 33 गोल्ड मेडल हासिल किए हैं. वहीं अब तक उसने 296 स्वर्ण पदक हासिल किए हैं.
इस पर मात्र 117 एथलीट भारत ने भेजे
भारत ने इस बार ओपलंपिक में मात्र 117 एथलीट ही ओलंपिक में भेजे. यह संख्या छोटे देशों से बहुत कम है. जापान ने इस बार 403 एथलीट पेरिस ओलंपिक में भेजे. वहीं जर्मनी ने करीब 438 एथलीट को ओलंपिक में भेजा. ऐसे में सवाल उठता है कि सबसे बड़ी आबादी वाले देश में केवल 117 एथलीट ही ओलंपिक तक पहुंच पाए. ऐसे कई इवेंट्स हैं, जिसमें भारतीय खिलाड़ी प्रतिभागी भी नहीं बन पाते हैं.
देश में शुरूआती स्तर पर नहीं मिलती हैं सुविधाएं: कीर्ति आजाद
हाल ही में संसद में बोलते हुए कीर्ति आजादा ने ओलंपिक को लेकर गंभीर तथ्य सामने रखे थे. उन्होंने कहा था कि जब निशानेबाजी में अभिनव बिंद्रा और जैवलीन थ्रो में नीरज चोपड़ा ने गोल्ड मेडल जीते तक सरकार ने उन्हें भरपूर सम्मान दिया. यह सम्मान उन्हें मिलना भी चाहिए. मगर जब कोई बच्चा ओलंपिक तक पहुंचने के लिए अपना सफर शुरू करता है तो उसे भारी कठिनाई का सामना करना पड़ा है. उसके पास खेलने के लिए पैसे नहीं होते है. उसके पास ट्रेनर नहीं होता है. उसके पास सही डाइट लेने तक के पैसे नहीं होते हैं. ऐसे में देश कैसे मेडल की उम्मीद कर सकता है. सरकार को शुरू से ही खिलाड़ी पर खर्च करने की जरूरत है. उन्हें स्कूली स्तर पर ट्रेनिंग देने की जरूरत है. तभी ज्यादा से ज्यादा खिलाड़ी हमारे ओलंपिक में पहुंच सकेंगे.