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इवांका ट्रंप की तारीफ के बाद बिहार के नेताओं में ज्योति की मदद करने की होड़

ज्योति के पिता मोहन पासवान ने दरभंगा के सिरहुल्ली से मीडिया से बातचीत में बताया कि, लॉकडाउन (Lock Down) खत्म होने के बाद हम निश्चित तौर पर उसे ट्रायल के लिए भेजेंगे.

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Ravindra Singh
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jyoti kumari with father

अपने पिता के साथ ज्योति( Photo Credit : फाइल)

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दरभंगा की ज्योति कुमारी की मदद के लिए अब हर हाथ उठने लगे हैं. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की बेटी इंवाका ट्रंप ने ज्योति की तारीफ क्या की, बिहार के नेताओं में भी ज्योति की मदद के लिए होड़ मच गयी है. आज नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव और राबड़ी देवी ने ज्योति कुमारी से बात की और उसे मदद करने का भरोसा दिलाया. तेजस्वी यादव और राबड़ी देवी ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये ज्योति कुमारी से बात की.

साइकिल पर अपने पिता को बैठाकर गुरूग्राम से बिहार के दरभंगा तक की 1200 किलोमीटर की दूरी तय करने वाली 15 साल की ज्योति कुमार पासवान ने भारतीय साइकिल महासंघ से मिले ट्रायल के प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया है लेकिन उनकी पहली प्राथमिकता 10वीं की पढाई को पूरा करना है. ज्योति के पिता मोहन पासवान ने दरभंगा के सिरहुल्ली से मीडिया से बातचीत में बताया कि, लॉकडाउन (Lock Down) खत्म होने के बाद हम निश्चित तौर पर उसे ट्रायल के लिए भेजेंगे. उसका कल ही नौवीं कक्षा में नामांकन हुआ है. फिलहाल हम चाहते है कि वह 10वीं की पढ़ाई पूरी करें. ज्योति के पिता गुरुग्राम में रिक्शा चलाते थे और उनके दुर्घटना का शिकार होने के बाद वह अपनी मां और जीजा के साथ गुरुग्राम आई थी और फिर पिता की देखभाल के लिए वहीं रुक गई. इसी बीच कोविड -19 (COVID-19) के कारण लॉकडाउन (Lock Down) की घोषणा हो गई और ज्योति के पिता का काम ठप्प पड़ गया.

चिराग पासवान ने की मदद की पेशकश
लोक जनशक्ति पार्टी (लोजपा) ने लॉकडाउन के दौरान बीमार पिता को साइकिल पर बैठाकर हरियाणा के गुरुग्राम से 1200 किलोमीटर दूर बिहार के दरभंगा ले जाने वाली लड़की ज्योति कुमारी की पढ़ाई पर आने वाले खर्च को वहन करने की पेशकश की है. लोजपा अध्यक्ष चिराग पासवान ने रविवार को कहा कि वह लड़की और उसके परिवार से कई दिनों से बात कर रहे हैं और उससे अनुरोध किया है कि वह देश में जहां भी चाहे अपनी आगे की पढ़ाई करे. उन्होंने कहा, मैं उसकी शिक्षा पर आने वाले खर्च को वहन करूंगा, चाहे वह किसी भी चीज की पढ़ाई करे. उल्लेखनीय है कि साइकिल पर पिता को पीछे बैठाकर लंबी दूरी तय करने के बाद ज्योति के सामने लगातार मदद के प्रस्ताव आ रहे हें.

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केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने दिया मदद का भरोसा
भाजपा नेता और केंद्रीय मंत्री रवि शंकर प्रसाद ने कहा कि वह ज्योति की बहादुरी से प्रभावित हुए हैं और खेलमंत्री किरण रिजिजू से अनुरोध किया कि अगर वह साइकिल चालक के खेल में आगे बढ़ना चाहती है, तो उसके प्रशिक्षण में मदद करें. उसकी मुश्किलें और मजबूती प्रवासियों की कहानियों में से एक है जो कोरोना वायरस के संक्रमण की वजह से फैली महामारी की समस्या का सामना कर रहे हैं. 

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केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान ने किरेण रिजिजू से की प्रक्षिक्षण और छात्रवृत्ति की सिफारिश
केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान ने भी इसी तरह का अनुरोध रिजिजू से करते हुए कहा कि ज्योति को उचित प्रशिक्षण और छात्रवृत्ति मुहैया कराई जानी चाहिए. केंद्रीय खेल मंत्री ने आश्वस्त किया कि उन्होंने अधिकारियों से मामले का संज्ञान लेने और ज्योति की परीक्षा आयोजित करने की व्यवस्था करने को कहा है. उन्होंने ट्वीट किया, अगर उसमें समार्थ्य होगा तो उसे दिल्ली स्थित आईजीआई स्टेडियम संकुल स्थित राष्ट्रीय साइकलिंग अकादमी के लिए बतौर प्रशिक्षु चुना जाएगा.

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सीएफआई ने बढ़ाए मदद को हाथ
ऐसे में ज्योति ने पिता के साथ साइकिल पर वापस गांव का सफर तय करने का फैसला किया. ज्योति की कहानी वायरल होने के बाद सीएफआई का ध्यान भी उनकी प्रतिभा की ओर गया. पासवान ने कहा, हां, हमारे पास नयी दिल्ली (सीएफआई) से फोन आया था. मैंने उन्हें कहा कि ज्योति को अभी आराम की जरूरत है. शायद दो-तीन महीने बाद हम इस पर विचार करेंगे. ज्योति इससे पहले गांव से पांच किलोमीटर दूर स्कूल जाती थी. पासवान ने कहा, गांव आने के लिए ज्योति लगातार कई घंटे तक साइकिल चलाती रहती थी. वह रात में भी साइकिल चलाती रहती थी. बीच-बीच में हमें ट्रक और टैक्टर वाले थोड़ा सहारा दे देते थे. गांव पहुंचने के बाद दरभंगा के जिलाधिकारी ने भी ज्योति से मुलाकात कर उन्हें नयी साइकिल भेंट की और कक्षा नौ में उसका नामांकन कराया. 

Chirag Paswan corona-virus lockdown Jyoti Kumari Gurugram to Darbhanga Ivanka Trump
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