कैमूर जिले के नगर परिषद भभुआ के तरफ से राशि का बंदर बाट करने का मामला प्रकाश में आया है. नगर परिषद भभुआ से प्रतिदिन निकाले गए कचरे का निस्तारण करने को लेकर खाद बनाने की मशीन जिलाधिकारी के आवास के पास ही लगाया गया है, लेकिन धरातल पर ना तो कोई मशीन दिखी और ना ही कचरा से खाद बनाने से संबंधित किसी भी प्रकार के सबूत मिले. उसके बावजूद नगर परिषद भभुआ के कार्यपालक पदाधिकारी दिनेश दयाल की मिली भगत से कचरे से खाद बनाने वाली एजेंसी को प्रतिमाह लाखों रुपए का भुगतान किया जा रहा है.
वार्ड पार्षदों ने लगाया आरोप
वार्ड पार्षदों का आरोप है कि जब से कचरा से खाद बनाने के लिए व्यवस्थाएं कर जगह एलॉट हुआ है. उसके बाद से आज तक लगभग 4 सालों में एक दिन भी खाद नहीं बनाया गया और वहां जो मशीन है. वह नगर परिषद भभुआ के कार्यालय में ही रखा गया है. धरातल पर किसी प्रकार का काम नहीं होता है. सारी राशि कागज पर ही कार्यपालक पदाधिकारी के मिली भगत से निकाल ली जाती है.
हर महीने निकाली जा रही राशि
नगर परिषद भभुआ वार्ड 14 के पार्षद परमानंद और वार्ड 24 के पार्षद ने बताया कि कचरा से खाद बनाने वाली मशीन नगर परिषद भभुआ में ही रखी गई है, लेकिन डीएम आवास के पास शेड और कुछ जगह की घेराबंदी कर छोड़ दिया गया है. वहां पर एक दिन भी खाद नहीं बनाया गया है, लेकिन प्रति माह राशि कार्यपालक पदाधिकारी द्वारा कागजों पर कार्य दिखाकर भुगतान किया जा रहा. इनके मिली भगत से लगातार राशि भुगतान बिना काम के ही कराया जा रहा है.
पदाधिकारी ने दी सफाई
वहीं, नगर परिषद भभुआ के कार्यपालक पदाधिकारी दिनेश दयाल लाल ने बताया कि कचरे से खाद बनाया जा रहा है. प्रतिमाह उस एवज में डेढ़ लाख रुपये भुगतान उस कंपनी को किया जाता है और जब से यह लगाया गया है तब से अब तक 75000 रुपये का खाद बनाकर बेचा गया है, और दूसरी मशीन नगर परिषद भभुआ में रखी गई है, लेकिन वहां पर कार्य जारी है.
रिपोर्ट - रंजन त्रिगुण
HIGHLIGHTS
- वार्ड पार्षदों ने लगाया आरोप
- हर महीने निकाली जा रही राशि
- पदाधिकारी ने दी सफाई
Source : News State Bihar Jharkhand