कटिहार के किसान इन दिनों ड्रैगन फ्रूट की खेती कर मुनाफा कमा रहे हैं. कभी मक्के की खेती के लिए जाना जाने वाला कटिहार आज ड्रैगन फ्रूट की खेती के लिए मशहूर हो रहा है. खेतों में लहलहाते ड्रैगन फ्रूट्स किसानों की आमदनी को भी बढ़ा रहे हैं और दूसरे किसानों को भी पारंपरिक खेती से हटकर कुछ नया करने के लिए प्रेरित कर रहे हैं. कटिहार जिले के जिन प्रखंडों को कभी काला पानी कहा जाता था. वहां ड्रैगन फ्रूट की खेती ने ऐसा करिश्मा कर डाला है कि किसान लाखों का मुनाफा कमा रहे हैं.
वियतनाम सें चल कर अमेरिका और चीन से निकल अब भारत में कमलम के नाम से जाना जाने वाला ड्रैगन फ्रूट कटिहार के किसानों के लिए वरदान साबित हो रहा है. स्वास्थ्य के लिए बेहद फायदेमंद इस फल की डिमांड पश्चिम बंगाल समेत बिहार के बाजारों में भी है. एक फल की कीमत करीब 200 रुपये होती है. इसलिए किसानों को इसके उत्पादन से अच्छा मुनाफा होता है.
ड्रैगन फ्रूट की उपज के लिए ज्यादा पानी की जरूरत नहीं होती इसलिए कम पानी वाले इलाकों के लिए ये खेती का अच्छा विकल्प साबित हो रही है. किसानों की माने तो इस लाल फल की डिमांड बाजारों में बहुत है. ऐसे में किसानों को प्रति एकड़ 5 लाख का मुनाफा हो रहा है. किसानों के इस नए विकल्प की सराहना सहकारिता मंत्री सुरेंद्र प्रसाद यादव ने की भी. जिले दौरे पर आए मंत्री ने साथ ही भरोसा दिया है कि वो सीएम से ड्रैगन फ्रूट की खेती को लेकर वैज्ञानिकों की टीम बनाने पर बात करेंगे. ताकि किसानों को उन्नत ड्रैगन फ्रूट्स खेती की जानकारी मिल सके.
ड्रैगन फ्रूट की खेती का चलन बिहार के अलावा देश के कई राज्यों में है. इसकी मुख्य वजह है इस फल की भारी डिमांड. दरअसल ड्रैगन फ्रूट में एंटीऑक्सीडेंट के साथ-साथ फ्लेवोनोइड, फेनोलिक एसिड समेत कई एंटी इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं. इससे डायबटीज भी कंट्रोल में होता है. इसके अलावा फल के सेवन से इम्यूनिटी भी बढ़ती है. ड्रैगन फ्रूट में एंटीवायरल गुण भी होते हैं. ड्रैगन फ्रूट वायरल से बचाने में बेहद कारगर है. इसमें कैल्शियम और फॉस्फोरस भी पाई जाती है. इसके अलावा बालों और स्किन के लिए भी ये बेहद उपयोगी होता है.
गौरतलब है कि ड्रैगन फ्रूट की खेती पहले विदेशों में ही होती थी. इसलिए इसकी कीमत ज्यादा होती थी, लेकिन अब देश के कई राज्यों में इसकी खेती शुरू हो गई है और ये किसानों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है.
रिपोर्ट : नीरज झा
HIGHLIGHTS
.किसानों को हो रहा लाखों का मुनाफा
.कम पानी में होती है अच्छी उपज
.किसानों के लिए बन रहा अच्छा विकल्प
Source : News State Bihar Jharkhand