बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री भोला पासवान शास्त्री (Bhola Paswan Shashtri) का परिवार लॉकडाउन (Lockdown) में भुखमरी के कगार पर पहुंच गया है. भोला पासवान तीन बार बिहार से मुख्यमंत्री रह चुके हैं. उनकी गिनती बेहद ईमानदार नेताओं में की जाती है. उसके परिवार की आर्थिक स्थिति की खबरें पिछले काफी समय में मीडिया की सुर्खियां बनी हुई थी. आरजेडी नेता तेजस्वी यादव (Tejaswi Yadav) ने वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से उनके परिवार के लोगों से बात की और तत्काल राशन और एक लाख रुपये की आर्थिक सहायता की.
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बिहार के पूर्व सीएम भोला पासवान शास्त्री का निधन तीन दशक पहले ही हो चुका है. उनकी अपनी कोई संतान नहीं है. वह भतीजे बिरंचि पासवान को ही वह अपना बेटा मानते थे. भोला पासवान शास्त्री बिहार के पहले दलित मुख्यमंत्री थे. वह 1968 में पहली बार बिहार के मुख्यमंत्री बने. जिसके बाद दोबारा 1969 में और तीसरी बार 1971 में वे फिर सीएम बने थे. भोला पासवान शास्त्री केंद्रीय मंत्री राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष एवं 4 बार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष चुने गए थे.
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ईमानदार नेतओं में थे शामिल
उनकी सादगी और ईमानदारी का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि जब इनकी मृत्यु हुई तब उनके परिवार को इनके अंतिम संस्कार के लिए भी चंदा इकट्ठा करना पड़ा था. मजदूरी करके कमाने खाने वाले इस परिवार के 25 सदस्य हैं. इनके परिवार में सिर्फ एक व्यक्ति के पास ही राशन कार्ड है. भतीजे बिरंचि के तीन बेटे समेत परिवार की बहू एवं बच्चों के सामने भुखमरी की नौबत आ गई है. इनकी हालत इतनी खराब है कि बच्चों को खाने के लिए मोहताज होना पड़ रहा है.
Source : News Nation Bureau