बिहार के नवादा में 18 सिंतबर को एक दलित बस्ती में दबंगों ने आग लगा दी. घटना के बाद जहां विपक्ष ने प्रदेश की कानून व्यवस्था पर सवाल खड़े किए तो वहीं राज्य के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने घटना की निंदा करते हुए ADG को सख्त निर्देश दिया है. सीएम ने सभी आरोपियों की गिरफ्तारी कर उन पर कार्रवाई करने का निर्देश दिया है. वहीं, अब यह घटना राजनीतिक रूप ले चुका है. पक्ष-विपक्ष के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो चुका है.
नवादा अग्निकांड पर तेजस्वी ने सरकार को घेरा
आरजेडी नेता तेजस्वी यादव ने घटना के बाद बिहार सरकार पर जुबानी हमला बोलते हुए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर ट्वीट किया कि बिहार में महा जंगलराज, महा दानवराज, महा राक्षसराज है. दलितों के 100 से ज्यादा घरों में आग लगा दी गई. नीतीश कुमार और नरेंद्र मोदी के राज में बिहार में आग ही आग.
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मांझी जी की बातों का तथ्यों से कोई लेना-देना नहीं
वहीं, जब केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी के बयान पर सवाल किया गया कि उन्होंने कहा है कि इस घटना में यादवों का हाथ है. इस पर जवाब देते हुए तेजस्वी ने कहा कि नवादा में जो घटना हुई, वो काफी दुखद है और इसे लेकर साफ पता चल रहा है कि डबल इंजन की सरकार में इस तरह का काम हो रहा है. जो भी आरोपी है, उसे गिरफ्तार करना चाहिए. मांझी जी मुख्यमंत्री रहे हैं, केंद्र मंत्री भी हैं, जो भी बात कहे हैं उसका तथ्यों से कुछ लेना-देना नहीं है... तथ्य से, सच से कोई लेना-देना नहीं है.. मांझी के बेटे आरएसएस की स्कूल में पढ़े हैं और वह उन्ही की पढ़ाई हुई बातें बोलते हैं. दिल्ली से बिहार से लेकर उन्हीं की सरकार है, जिन्होंने आग लगाई है, उन्हें पकड़े, लेकिन बिना तथ्यों की जानकारी के नहीं बोलना चाहिए.
70 फीसदी भूमि विवाद के पीछे लालू का परिवार और पार्टी
वहीं, मांझी लगातार घटना को लेकर आरजेडी पर पलटवार कर रहे हैं. उन्होंने नवादा की घटना पर कहा कि बिहार में 70 फीसदी भूमि विवाद के पीछे लालू यादव का परिवार और उनकी पार्टी के लोग है. 2005 से पहले भी ऐसी घटना होती थी और यह लोग विक्टिम और क्रिमिनल को बुलाकर निगोशिएशन करवा देते थे. अब ऐसा नहीं है.