झारखंड हाईकोर्ट में नेता प्रतिपक्ष मामले में मंगलवार को सुनवाई हुई, जहां झारखंड सरकार की तरफ से कपिल सिब्बल ने सरकार का पक्ष रखा. वहीं, बीजेपी की तरफ से अधिवक्ता ने कोर्ट को बताया कि नेता प्रतिपक्ष के लिए बाबूलाल मरांडी का नाम विधानसभा को दिया जा चुका है. इस पर वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने कोर्ट में कहा कि नेता प्रतिपक्ष के लिए बीजेपी को ऐसे व्यक्ति का नाम देना चाहिए, जो बीजेपी के सिंबल पर चुनाव लड़े और जीता हो. बता दें कि सदन में नेता प्रतिपक्ष के नहीं होने से संवैधानिक संस्थाओं में अध्यक्ष की नियुक्ति में दिक्कत हो रही है. खबर के मुताबिक मुख्य सूचना आयुक्त और लोकायुक्त की नियुक्ति जल्द होगी. वहीं, इस मामले में अगली सुनवाई 30 अगस्त को होगी.
नेता प्रतिपक्ष के लिए बाबूलाल मरांडी का नाम
जानते हैं कि आखिर झारखंड के विधानसभा में अभी तक नेता प्रतिपक्ष क्यों नहीं है? दरअसल, 2019 के विधानसभा चुनाव के बाद बाबूलाल मरांडी ने अपने पार्टी जेवीएम का BJP में विलय कर दिया था. इसपर जेवीएम के विधायक प्रदीप यादव और बंधु तिर्की ने इसे लेकर सवाल उठाया था. उसके बाद से ही यह मामला स्पीकर के ट्रिब्यूनल में चल रहा है. वैसे, चुनाव आयोग ने इस विलय को मान्यता दे दी थी.
क्यों नहीं मिली बाबूलाल मरांडी को नेता प्रतिपक्ष की मान्यता?
जिसके आधार पर बाबूलाल मरांडी राज्यसभा चुनाव में बीजेपी विधायक की हैसियत से अपना वोट भी देते हैं, लेकिन सदन में उन्हें अबतक नेता प्रतिपक्ष की मान्यता नहीं दी गई है. इस बीच विपक्ष की तरफ से भाजपा को सुझाव दिए जा रहे हैं कि नेता प्रतिपक्ष के लिए किसी अन्य नेता का नाम चयनित कर भेजा जाए. अब देखना यह है कि अगर बाबूलाल मरांडी नहीं तो बीजेपी की तरफ से किस नाम पर सहमति बनती है और किसे नेता प्रतिपक्ष के रूप में चुना जाता है.
HIGHLIGHTS
- नेता प्रतिपक्ष मामले में सुनवाई आज
- नेता प्रतिपक्ष के लिए बाबूलाल मरांडी का नाम
- 30 अगस्त को मामले में अगली सुनवाई
Source : News State Bihar Jharkhand