बिहार में इस बार किसानों की बल्ले-बल्ले होने वाली है. यहां नीतीश सरकार गन्ने की खेती का रकबा बढ़ाने को लेकर एक नया कदम उठाने जा रही है. इसके लिए पहली अक्टूबर से बिहार राज्य गुड़ उद्योग प्रोत्साहन नीति लागू होगी. इस पहल से किसान समृद्ध तो बनेंगे ही साथ ही रोजगार का भी सृजन होगा. प्रदेश सरकार इस नये कदम से 38 जिलों में खेती को बढ़ावा देने की तैयारी कर रही है. उद्यमियों को योजना का लाभ लेने के लिए ऑनलाइन आवेदन करना होगा.
बता दें कि गन्ना उद्योग विभाग ने इस नई योजना के लिए केन केयर साफ्टवेयर विकसित कराया है. गन्ना उद्योग विभाग मंत्री कृष्णनंदन पासवान ने बुधवार को पत्रकारों को इसके बारे में जानकारी भी दी. उन्होंने बताया कि गन्ना किसान से लेकर उद्यमियों को अब सभी तरह की योजना का लाभ केन केयर पोर्टल के माध्यम से दिया जाएगा.
12 करोड़ रुपये से अधिक राशि का है प्रविधान
मंत्री ने प्रेसवार्ता में आगे कहा कि चालू वित्तीय वर्ष में गुड़ उद्योग लगाने वालों को अनुदान देने के लिए 12 करोड़ रुपये से अधिक राशि का प्रविधान किया गया है. इसके बाद गन्ना आयुक्त अनिल झा ने बिहार राज्य गुड़ उद्योग प्रोत्साहन नीति के बारे में विस्तार से जानकारी दी. उन्होंने बताया कि सरकार की तरफ से 50 प्रतिशत अनुदान देने का प्रविधान है. साथ ही ऐसे उद्यमी जो पांच करोड़ रुपये से अधिक निवेश करना चाहते हैं उनको बैंक ब्याज पर 10 प्रतिशत अनुदान देगा. चीनी मिलों के हित को ध्यान में रखते हुए 15 किमी की दूरी पर ही गुड़ उद्योग लगाने की अनुमति दी जाएगी.
मुख्यमंत्री गन्ना विकास योजना का होगा विस्तार
गन्ना उद्योग विभाग के प्रधान सचिव नर्मदेश्वर लाल ने बताया कि सभी 38 जिलों में गन्ने की खेती को सरकार की तरफ से बढ़ावा मिलेगा. मुख्यमंत्री गन्ना विकास योजना का लाभ लेने के लिए किसानों को जागरूक किया जाएगा. गन्ना के उपज को बढ़ाने व आधुनिक प्रकार के गन्ना बीज का उपयोग करने के लिए किसानों के बीच त्रिस्तरीय बीज उत्पादन कार्यक्रम लागू करने की तैयारी है. इस पहल से गुड़ उद्योग को प्रोत्साहन मिलने की उम्मीद है.