बिहार की नीतीश सरकार ने एक बार फिर कैबिनेट विस्तार (Cabinet Expansion) की चर्चा शुरू की है. आपको बता दें बिहार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अगुवाई वाली वाली एनडीए (NDA) सरकार को बने हुए दो महीने बीत गए हैं, लेकिन अभी तक कैबिनेट का विस्तार नहीं हो सका है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा मंगलवार को मंत्रिमंडल का विस्तार नहीं होगा. लेकिन कैबिनेट मंत्री पद लेने वाले नेताओं के नामों पर मुहर लग सकती है. उन्होंने कहा कि बहुत जल्द मंत्रिमंडल विस्तार होगा. केंद्रीय मंत्रिमंडल विस्तार में JDU के शामिल होने के सवाल पर बोले नीतीश इसका फ़ैसला हमें नहीं करना है. दरअसल, बिहार में सबकी नजरें मंत्रिमंडल के विस्तार पर टिकी हुई हैं. बीजेपी और जेडीयू के खेमे में हर कोई यह पता करने में लगा हुआ है कि इस बार उसका नंबर आएगा या नहीं.
बिहार में मंत्रिमंडल विस्तार को लेकर एनडीए के भीतर भी अभी तक आम सहमति नहीं बन पाई है इस वजह से जहां सूबे के राजनीतिक गलियारों में हलचल है तो, वहीं यह भी कहा जा रहा है कि 19 जनवरी (मंगलवार) शाम को नीतीश कैबिनेट में बीजेपी कोटे से लिए जाने वाले नए मंत्रियों के नामों पर अंतिम मुहर लग जाएगी. इसके बाद एक-दो दिनों के अंदर ही कैबिनेट विस्तार भी हो जाएगा. हालांकि, सूत्रों की मानें तो यह खबर भी चर्चा में है कि अभी यह भी तय नहीं हुआ है कि बीजेपी और जदयू से कितने नये मंत्री कैबिनेट में शामिल होंगे. इस बात के संकेत सोमवार को सीएम नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) के उस बयान से भी होता है, जिसमें उन्होंने कहा था कि विस्तार तो होगा, लेकिन कब होगा यह तय नहीं है.
आपको बता दें कि इसी बीच यह खबरें भी आ रहीं हैं कि बीजेपी ने इस मंत्रिमंडल विस्तार के लिए अपनी तैयारियां पूरी कर रखी हैं. इसी वजह से प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष डॉ संजय जायसवाल सोमवार की शाम (18 जनवरी) को दिल्ली चले गए. माना जा रहा है कि केंद्रीय नेतृत्व की सहमति मिलते ही उपमुख्यमंत्री तार किशोर प्रसाद और बिहार बीजेपी अध्यक्ष डॉ. संजय जायसवाल नये मंत्रियों के नामों की सूची मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को सौंप देंगे.
प्रदेश में गठबंधन में अभी कई मौकों पर बीजेपी नेता सीएम नीतीश की पार्टी जेडीयू के साथ समझौता करती नजर आती थी, लेकिन अब हालात बदल चुके हैं. मीडिया में आईं खबरों की मानें तो, बीजेपी अनुभवी के बाद अब युवा नेताओं को सरकार में नेतृत्व देकर संतुलन कायम करने की कोशिश करेगी. हालांकि, कैबिनेट विस्तार के कुछ वरिष्ठ नेताओं को मौका देने के साथ ही जातीय समीकरण को भी साधने की पूरी तैयारी होगी.
Source : News Nation Bureau