चिराग पासवान और चाचा पशुपति पारस के रिश्ते किसी से भी छुपे नहीं है. दोनों ने अपने रास्ते अलग कर लिए हैं. एक दूसरे पर हमला करने का कोई भी मौका नहीं छोड़ते है. लेकिन अब लोक जनशक्ति पार्टी ( रामविलास ) और राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी ( पारस ) के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान और पशुपति पारस को चुनाव आयोग ने 29 नवंबर को चुनाव चिन्ह आवंटित करने को लेकर इन दोनों को बुलाया है.
आपको बात दें कि, लोजपा में दो गुट होने के बाद पिछले दिनों चुनाव आयोग ने पार्टी सिंबल को फ्रीज कर दिया है. जिसके बाद चाचा पशुपति पारस और चिराग पासवान ने अपनी - अपनी पार्टी बनाकर अलग चुनाव मैदान में उतरने का एलान किया. जिसके बाद चिराग कि पार्टी का नाम लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) और उन्हें चुनाव चिन्ह हेलिकॉप्टर दिया गया है. जबकि उनके चाचा केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस की पार्टी का नाम राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी होगा. उन्हें चुनाव चिन्ह सिलाई मशीन दिया गया है. इसके बाद चिराग पासवान और पशुपति पारस ने चुनाव आयोग के पास पत्र लिखकर लोजपा का पुराना चुनाव बंगला देने कि मांग उठाई थी. जिसके बाद अब इस मामले को लेकर बातचीत करने के लिए आयोग ने दोनों को 29 नवंबर को चुनाव आयोग कार्यालय में बुलाया है.
जहां चिराग पासवान का कहना है कि वो अपने चाचा के साथ कभी भी समझौता नहीं कर सकते तो चाचा पशुपति पारस का कहना है कि हम अपनी पार्टी बना रखें हैं और हमारी पार्टी बेहतर काम कर रही है. जबकि वहीं, दोनों पार्टी के कुछ नेताओं का कहना है कि परिवार में थोड़ा बहुत होते रहता है, लेकिन बाद में सबकुछ ठीक हो जाता है. अब देखना होगा कि चुनाव आयोग दोनों में से किसे पुराना चुनाव चिन्ह देती है.
Source : News State Bihar Jharkhand