कोरोना काल में लगातार कर्तव्य निभाते हुए पुलिसकर्मी भी डटे हुए हैं. ऐसे में कई पुलिसकर्मी या तो बीमार पड़ रहे हैं या मानसिक तनाव से गुजर रहे हैं. काम के प्रेसर और अधिकारियों के दबाव में कई दिल्ली पुलिस के एक और जवान ने अपनी जिंदगी खत्म कर ली. पूर्वी दिल्ली के पांडव नगर थाने में तैनात सब इंस्पेक्टर राहुल सिंह ने खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली है. सब इंस्पेक्टर राहुल ने अपनी सर्विस रिवॉल्वर से खुद को गोली मारी है. राहुल ड्यूटी पर तैनात थे और अचानक थाने की छत पर जाकर इस घटना को अंजाम दे दिया. शुक्रवार को दोपहर करीब 12 बजे थाने की छत पर उनकी लाश बरामद हुई.
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मृतक एसआई का एक ऑडियो सोशल मीडिया पर बड़ी तेजी के साथ वायरल हो रहा है, जिसमें वे अपने वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा दिए जाने वाले मानसिक तनाव का जिक्र कर रहे हैं. इस ऑडियो के वायरल होने पर सोशल मीडिया पर मृतक एसआई राहुल को न्याय दिलाने के लिए एक छिड़ चुकी है. जिसमें लोग बढ़चढ़ कर हिस्सा ले रहे हैं. मृतक एसआई के एक साथी ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट शेयर करके अपने साथी के लिए न्याय मांगा है. उसने अपने पोस्ट में लिखा कि 'पांडव नगर थाने में खुद को गोली मारने सब इंस्पेक्टर की लास्ट कॉल, वह एक एएसआई से बात कर रहा है, इस बातचीत में दिल्ली पुलिस कर्मियों का स्ट्रेस लेवल पता चलता है, दोनों कह रहे हैं कि उनकी परेशानी कोई और तो क्या समझे घर वाले भी नहीं समझ पाते.'
उसने अपने पोस्ट में लिखा कि 'एसआई राहुल की दिसंबर 2020 में शादी हुई थी. वह एक गरीब परिवार से ताल्लुक रखता था. उनके पिता का 2003 में निधन हो गया. राहुल के परिवार में उनकी 19 वर्षीय बहन, 21 वर्षीय भाई और उनकी बूढ़ी मां हैं. राहुल एक सभ्य और शर्मीला लड़का था. मैं उन्हें अपने प्रशिक्षण समय (2015-2016) से जानता हूं. मैं उसका बैचमेट, प्लाटून सदस्य, बैरक सदस्य और बिस्तर पड़ोसी भी था. उन्होंने कभी किसी को तंग नहीं किया और न ही किसी को परेशान किया. विषम परिस्थितियों में भी क्रोधित होने पर भी वह हमेशा विनम्र और विनम्र तरीके से बातें करते हैं.'
उसने लिखा कि 'एसआई राहुल ने थाने में काम के दबाव में 04 जून 2021 को आत्महत्या कर ली. इस दिल की पुलिस दिल्ली पुलिस का उद्देश्य विश्व स्तरीय होना है, बल्कि पुलिस प्रणाली स्तर पर काम करने की सबसे पुरानी कठोर युग की बुनियादी प्रणाली है. एसआई राहुल न्याय के पात्र हैं. आत्महत्या करने से पहले एसआई राहुल की यह आखिरी कॉल रिकॉर्डिंग है. एसएचओ विद्याधर सागर और उनसे पूर्व एसएचओ (रतन पाल) द्वारा पुलिस स्टेशन के काम से उन पर भारी दबाव था.
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पीएस पांडव नगर में 9 एसआई की स्वीकृत शक्ति थी, लेकिन पीएस में 15 एसआई थे, फिर भी कार्य का वितरण उचित तरीके से नहीं किया गया था. एसआई राहुल द्वारा विनम्र अनुरोध के बावजूद एसआई राहुल को जानबूझकर अतिरिक्त काम दिया गया था. हर छोटा या बड़ा मामला उन्हीं को सौंपा जाता था. उनके पास कुल 110 फाइलें लंबित थीं.' वहीं दिल्ली पुलिस इसे खुदकुशी का रूप देने में लगी हुई है. दिल्ली पुलिस ने अपनी प्रारंभिक जांच में कहा कि राहुल सिंह का पूरा परिवार मानसिक तनाव से गुजर रहा है. उसके पिता ने कारोबार में नुकसान होने के कारण 2004 में अपने घर में फांसी लगाकर आत्महत्या की थी. वहीं 2015 में राहुल सिंह की बहन ने मां से झगड़े के बाद घर में ही आत्महत्या कर ली थी.
बता दें कि 31 साल के राहुल मूलरूप से आगरा के रहने वाले थे. पुलिस अधिकारी ने बताया कि 2017 से राहल की तैनाती पांडव नगर थाने में हुई थी.
HIGHLIGHTS
- मृतक एसआई को न्याय दिलाने की मुहिम
- पांडव नगर थाने में तैनात थे एसआई राहुल
- दिसंबर 2020 में हुई थी मृतक एसआई की शादी