दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal)का कोरोना टेस्ट मंगलवार को निगेटिव आया. अरविंद केजरीवाल को सोमवार को हल्का बुखार और गले में खराश की शिकायत हुई थी जिसके बाद उनकी सारी बैठकें रद्द कर दीं गईं थी. सीएम केजरीवाल ने किसी से मुलाकात नहीं की और खुद को आइसोलेट कर लिया था. आम आदमी पार्टी (आप) नेता और राज्यसभा सदस्य संजय सिंह ने मीडिया से बात चीत में बताया था कि, मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को हल्का बुखार है और उन्हें गले में खराश की दिक्कत है. वह अपने आवास पर आइसोलेट हैं. उनका कोरोना टेस्ट होगा. वह डायबिटिक भी हैं.
आपको बता दें कि मंगलवार को ही दिल्ली की आम आदमी पार्टी की सरकार ने कोरोना वायरस के कम्युनिटी ट्रांसफॉर्मेशन को लेकर आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के अधिकारियों के साथ बड़ी बैठक बुलाई थी लेकिन सीएम अरविंद केजरीवाल उस बैठक में हिस्सा नहीं ले सके थे. सीएम केजरीवाल की जगह डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने इस बैठक में दिल्ली सरकार का प्रतिनिधित्व किया.
दिल्ली में कोरोना से अब तक 874 लोगों की जान गई
दिल्ली में सोमवार को कोरोना वायरस के 1,007 नए मरीज सामने आए. इसके बाद राष्ट्रीय राजधानी में संक्रमितों की संख्या करीब 30 हजार तक पहुंच गई, जबकि संक्रमण ने अब तक 874 लोगों की जान ले ली है. दिल्ली में 30 मई से छह जून के बीच 62 संक्रमितों की मौत हुई, जिनमें से 27 की मौत पांच जून को हुई. दिल्ली में कोविड-19 के सबसे ज्यादा 1513 मामले तीन जून को आए थे. स्वास्थ्य विभाग ने सोमवार को एक बुलेटिन में कहा कि कोरोना वायरस के संक्रमण के कारण मरने वालों की संख्या 874 हो गई है और कोविड-19 के कुल मामले 29,943 हो गए हैं.
दिल्ली के11,357 मरीज कोरोना के संक्रमण से ठीक हुए
बुलेटिन के मुताबिक, अबतक 11,357 मरीज संक्रमण से ठीक हो चुके हैं जबकि 17,172 रोगी इलाज करा रहे हैं. इसमें कहा गया है कि अबतक कोविड-19 के 2,55,615 नमूनों की जांच की गई है. बुलेटिन के मुताबिक, 13,405 संक्रमित मरीज घर में पृथकवास में हैं. 248 मरीज वेंटिलेटर या आईसीयू में हैं. शहर में निषिद्ध क्षेत्रों की संख्या सोमवार को बढ़कर 183 हो गई है जो रविवार को 169 थी.
जून के अंत तक हो सकते हैं एक लाख केस
दिल्ली में जून के अंत तक करीब 15,000 बिस्तर की आवश्यकता होगी क्योंकि तब तक कोरोना वायरस संक्रमण के मामले बढ़कर एक लाख तक जा सकते हैं. दिल्ली सरकार को सौंपी अपनी रिपोर्ट में एक विशेषज्ञ समिति ने यह आशंका जताई है. इंद्रप्रस्थ विश्वविद्यालय के कुलपति महेश वर्मा की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय समिति का गठन दिल्ली की आम आदमी पार्टी सरकार ने किया था और इसने शनिवार को अपनी रिपोर्ट सौंप दी.
अस्पतालों में बेड की संख्या बढ़ाने पर जोर
समिति के एक सदस्य ने कहा, 'इसमें बिस्तरों की संख्या बढ़ाने पर विशेष जोर दिया गया है. वर्तमान में हमारे पास करीब 9,500 बिस्तर हैं. हर दो सप्ताह में मामले दोगुना हो रहे हैं. आशंका है कि जून के अंत तक 15,000 से अधिक बिस्तरों की जरूरत होगी तथा जुलाई में और अधिक बिस्तर की आवश्यकता होगी.'
Source : Mohit Bakshi