नागरिकता संशोधन कानून (CAA) को लेकर दिल्ली में हिंसा रुकने का नाम नहीं ले रहा है. जाफराबाद और मौजपुर में जहां सोमवार को भीषण हिंसा हुई, वहीं मंगलवार को भजनपुरा में दो गुटों में पथराव शुरू हो गया. हिंसा को लेकर राजनेताओं में जुबानी जंग भी छिड़ चुकी है. मौजपुर, जाफराबाद और उत्तर-पूर्वी दिल्ली के आस-पास के क्षेत्र में हुई हिंसा से संबंधित याचिका उच्च न्यायालय (High Court) पहुंच गई है. जिस पर सुनवाई कल यानी बुधवार को होगी.
एएनआई के मुताबिक, 'उच्च न्यायालय मौजपुर, जाफ़राबाद और उत्तर-पूर्वी दिल्ली के आस-पास के क्षेत्र में हुई हिंसा से संबंधित याचिका पर कल सुनवाई करेगा. याचिका में जांच के लिए दिल्ली से बाहर के अधिकारियों की एसआईटी (SIT) के गठन और केंद्र सरकार द्वारा सेना को कानून व्यवस्था बनाए रखने के निर्देश की मांग की गई है.'
High Court agrees to hear tomorrow the petition regarding violence held in Maujpur, Jaffrabad and adjoining area of North-east Delhi.Petition seeking constitution of an SIT consisting of officers from outside Delhi and direction to the Centre to request Army to maintain law&order pic.twitter.com/RmKQObV3Ve
— ANI (@ANI) February 25, 2020
सुप्रीम कोर्ट में भी हिंसा को लेकर दायर याचिका पर होगी सुनवाई
इधर उच्चतम न्यायालय (Supreme Court) दिल्ली में संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) को लेकर हाल ही में हुई हिंसा के मामले में प्राथमिकी दर्ज कराने की मांग करने वाली पूर्व मुख्य सूचना आयुक्त (सीआईसी) वजाहत हबीबुल्ला और अन्य की याचिका पर सुनवाई करने पर मंगलवार को तैयार हो गया.
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शाहीन बाग में बैठे महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने की मांग
न्यायमूर्ति एस. के. कौल और न्यायमूर्ति के. एम. जोसफ की एक पीठ के समक्ष याचिका को तत्काल सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया गया था. पीठ बुधवार को इस पर सुनवाई करने को तैयार हो गया. हबीबुल्ला, भीम आर्मी के प्रमुख चंद्रशेखर आजाद और सामाजिक कार्यकर्ता बहादुर अब्बास नकवी ने यह याचिका दायर की है. इसमें सीएए को लेकर शाहीन बाग और राष्ट्रीय राजधानी के अन्य हिस्सों में जारी धरनों में महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अधिकारियों को निर्देश देने की मांग भी की गई है.
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हेड कॉन्स्टेबल सहित सात लोगों की गई जान
पूर्वोत्तर दिल्ली के कुछ इलाकों में मंगलवार को फिर से हिंसा हुई जहां भीड़ ने पथराव किया और बंद दुकानों में तोड़फोड़ की गई. यहां एक दिन पहले ही, संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) को लेकर हुई हिंसा में एक हेड कॉन्स्टेबल सहित सात लोगों की जान जा चुकी है. हिंसा से सबसे अधिक प्रभावित मौजपुर सहित कई स्थानों पर धुआं निकलता देखा गया. दिल्ली के जाफराबाद और मौजपुर में सोमवार को संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) का समर्थन करने वाले और विरोध करने वाले समूहों के बीच संघर्ष ने सांप्रदायिक रंग ले लिया था और इसमें करीब 150 लोग घायल हुए थे. इलाके में तनाव कायम होने के चलते स्कूल बंद है और डर के कारण लोग भी घरों से बाहर नहीं निकले.