दिल्ली सरकार ने शुक्रवार को कहा कि वह राष्ट्रीय राजधानी में फंसे प्रवासी कामगारों को उनके घर भेजने के लिये ट्रेन यात्रा का खर्च उठाएगी. दिल्ली सरकार के एक बयान में कहा गया है कि मौजूदा दिशा-निर्देशों के अनुसार प्रवासी कामगारों का यात्रा खर्च केन्द्र सरकार और उनके गृह राज्य की सरकार उठा रही हैं, लेकिन दिल्ली सरकार ने इन प्रवासियों को उनके घर भेजने पर होने वाला यात्रा खर्च वहन करने का फैसला किया है.
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बयान के अनुसार दिल्ली सरकार पहले ही संबंधित राज्यों को दिल्ली में फंसे कामगारों की सूची भेज चुकी है. इस बीच, दिल्ली सरकार ने शुक्रवार को सभी जिला मजिस्ट्रेट और पुलिस उपायुक्तों को लॉकडाउन के दौरान अनुमति प्राप्त आर्थिक गतिविधियों का सुगम संचालन सुनिश्चित करने का आदेश दिया. सरकार को शिकायत मिली थी कि कुछ सरकारी एजेंसियां और रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन दिल्ली सरकार के आदेशों में बाधा डाल रहे हैं, जिसके मद्देनजर मुख्य सचिव विजय देव ने यह आदेश जारी किया.
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उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने बुधवार को देव को भेजे नोट में यह मुद्दा उठाया था. सिसोदिया ने कहा कि सरकार को निजी दफ्तरों को खोलने पर रोक और आरडब्ल्यूए द्वारा खुद के बनाए नियमों के अनुसार घरेलू सहायिकाओं, प्लंबरों और अन्य सेवा प्रदाताओँ को प्रवेश की अनुमति देने जैसी शिकायतें मिली हैं. इस बीच दिल्ली में 338 और लोगों को कोविड-19 से संक्रमित पाए जाने के बाद शुक्रवार को संक्रमितों की संख्या 6,318 हो गई है. इनमें से अबतक 68 लोगों की जान जा चुकी है.
Source : Bhasha