एअर इंडिया (Air India) के दिल्ली, मुम्बई उड़ान में तकनीकी दिक्कत के कारण विलंब से नाराज यात्रियों ने बृहस्पतिवार को चालक दल के सदस्यों के साथ कथित तौर पर धक्कामुक्की की और कॉकपिट का दरवाजा तोड़ने की धमकी दी. विमानन कंपनी के एक अधिकारी ने कहा, 'एआई 865 उड़ान में बृहस्पतिवार को तकनीकी गड़बड़ी के कारण विलंब हुआ. इसे वापस लौटना पड़ा. इस पर यात्री कॉकपिट का दरवाजा खटखटाने लगे और फब्तियां कसते हुए पायलट को बाहर आने के लिए कहने लगे' उन्होंने बताया, 'एक पुरुष यात्री ने तो यहां तक कहा कि अगर पायलट बाहर नहीं निकले तो वह कॉकपिट का दरवाजा तोड़ देगा. विमान के अंदर के हालात बद से बदतर हो गए थे.'
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अधिकारी ने बताया कि यात्री विमान के अंदर करीब पांच घंटे तक फंसे रहे. अधिकारी ने बताया कि एक महिला यात्री ने चालक दल के एक सदस्य के साथ कथित तौर पर धक्का मुक्की की, मुख्य निकास द्वार तत्काल खोलने के लिए उसके हाथ तक पकड़ लिए. एअर इंडिया के प्रवक्ता ने बताया कि चालक दल को मामले की विस्तृत रिपोर्ट पेश करने के लिए कहा गया है. प्रवक्ता ने कहा, ‘‘तकनीकी कारणों से दो जनवरी को एआई 865 उड़ान में विलंब हुआ.
एअर इंडिया प्रबंधन ने चालक दल से कुछ यात्रियों के कथित दुर्व्यवहार की विस्तृत रिपोर्ट मांगी है. रिपोर्ट मिलने पर आगे की कार्रवाई पर विचार किया जाएगा.’’ विमानन नियामक डीजीसीए के एक अधिकारी ने कहा कि उन्होंने एअर इंडिया से यात्रियों के बुरे बर्ताव पर कार्रवाई करने के लिए कहा है.
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नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (डीजीसीए) के 2017 के नियमों के अनुसार, कॉकपिट को तोड़ना ‘स्तर तीन का उल्लंघन’ है और इसका उल्लंघन करने वाले यात्री को एयरलाइन की 'नो-फ्लाई सूची' में दो साल या इससे अधिक साल के लिए रखा जा सकता है. चालक दल के सदस्य को पकड़ना, धक्का देना और मारना जैसी घटना - 'स्तर दो का उल्लंघन' है, जिसके तहत एक यात्री को छह महीने तक 'नो फ्लाई' सूची में रखा जा सकता है. एक बार एयरलाइन किसी को अपनी नो फ्लाई सूची में डाल देता है तो उस पर अंतिम निर्णय डीजीसीए लेता है.
Source : Bhasha