भारत की राजधानी दिल्ली अपने इतिहास, सांस्कृतिक विरासत और बाजारों के सौंदर्य के लिए मशहूर है. सदर बाजार, दिल्ली का एक प्रमुख बाजार है, जो अपने अद्वितीय रंग-बिरंगे विक्रय स्थलों, सामूहिक सहयोग और इतिहास से भरपूर है. इसे एशिया का सबसे बड़ा बाजार कहा जाता है. कहते हैं अगर आप दिल्ली में हैं और सबसे सस्ते दामों में दुनिया की महंगी से महंगी और सस्ती से सस्ती चीज खरीदना चाहते हैं तो बेझिझक यहां पहुंच जाएं. अगर आप सदर बाजार की गलियों में एक बार घुस गए तो आपको सुबह से शाम कब हो जाएगी पता भी नहीं चलेगा. इतना ही नहीं शॉपिंग करने गए लोगों की जेब के सारे पैसे खत्म हो जाते हैं लेकिन सामान खरीदने की चाह उनकी वहीं रह जाती है. तो आप अगर सदर बाजार के बारे में और करीब से जानना चाहते हैं तो हम आपको उसके इतिहास की कुछ खास विशेषताएं बताते हैं.
इतिहास और उत्पत्ति
सदर बाज़ार का नाम 'सदर' अरबी शब्द 'सुदूर' से आता है, जिसका अर्थ है 'दूर'. इसे ब्रिटिश शासन के दौरान 'सदर बाजार' के नाम से जाना जाता था. यह बाजार ब्रिटिश आधिकारिकों के लिए सुप्लाई बेस था.
बाजार की विशेषताएं
1. विविधता में समृद्धि
सदर बाजार अपनी विविधता के लिए मशहूर है, यहां विभिन्न वस्त्र, गहने, इलेक्ट्रॉनिक्स और सामान्य बाजार सामग्री उपलब्ध है.
2. सांस्कृतिक धारा
बाजार में स्थित हनुमान मंदिर और जमा मस्जिद जैसे सांस्कृतिक स्थल इसे एक विशेष भगीरथी बनाते हैं.
3. बाजार की तंग गलियां
सदर बाज़ार की गलियों में चर्चा के लिए सुसज्जित धाराओं, गलियों और कुछ प्राचीन चीजों को बनाए रखा गया है, जो इसे अद्वितीय बनाता है.
4. व्यापारिक गतिविधियां
सदर बाजार देश और विदेश से आने वाले व्यापारी और ग्राहकों के लिए एक आकर्षक विकल्प है जो विभिन्न वस्त्र, गहनों, इलेक्ट्रॉनिक्स और सामान्य बाजार सामग्री खोजना चाहते हैं.
5. आसपास के इलाकों से सहज पहुंच
सदर बाजार, दिल्ली के मुख्य क्षेत्रों से सहजता से पहुंचा जा सकता है और यह अच्छे परिवहन कनेक्टिविटी के साथ सुसज्जित है.
इस प्रकार सदर बाजार दिल्ली का एक सांस्कृतिक और व्यापारिक हब है, जो दर्शकों को भारतीय बाजार की ब्रिज और विविधता का स्वाद प्रदान करता है. यह पुरातात्विक चीजों से जुड़ा हुआ है. बाजार की गलियां इसे एक आदर्श खरीदारी और घूमने का स्थल बनाती हैं.
Source : News Nation Bureau