हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने एक बार फिर कृषि कानूनों का विरोध करने वालों पर विवादित टिप्पणी की है. कृषि कानूनों का विरोध करने वालों को कानून से अनभिज्ञ बताते हुए सीएम मनोहर लाल खट्टर ने कहा कि, "कृषि कानून का जो विरोध है उसमें किसी को कुछ नहीं पता कि इसमें होना क्या है, कितना फायदा और नुकसान है. समाज में एक वर्ग ऐसा है जिसे विरोध के लिए विरोध करना है. मुख्यमंत्री खट्टर पहले भी कई बार किसान नेताओं और आंदोलनकारियों पर सवाल उठा चुके हैं."
भाजपा नेता शुरू से ही किसान आंदोलन को कांग्रेस- कम्युनिस्ट समर्थक बताते रहे. भाजपा-संघ से जुड़े लोग सिंघु बार्डर पर धरना दे रहे किसानों को एक क्षेत्र और जाति से संबंधित बताते रहे हैं. शुरू में यह आंदोलन पंजाब, हरियाणा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश तक ही सीमित था. लेकिन धारे-धीरे किसानों का यह संघर्ष देशव्यापी स्वरूप ले लिया है.
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लेकिन भाजपा नेता अभी भी किसान आंदोलन को बेवजह और कृषि कानूनों को किसानों के हित में बता रहे हैं. हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने विवादित बयान देकर यह साबित कर दिया है कि केंद्र में सत्ताशीन भाजपा कृषि कानूनों पर कोई समझौता नहीं करेगी.
HIGHLIGHTS
- हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कृषि कानूनों का विरोध करने वालों पर की विवादित टिप्पणी
- भाजपा से जुड़े लोग सिंघु बार्डर पर धरना दे रहे किसानों को एक क्षेत्र और जाति से संबंधित बताते रहे
- CM खट्टर पहले भी कई बार किसान नेताओं और आंदोलनकारियों पर सवाल उठा चुके हैं