Advertisment

क्या आपका भी राशन कार्ड हो जाएगा रद्द? जांच के बाद हुआ ये बड़ा खुलासा

पूर्वी सिंहभूम के डीसी के आदेश पर शो-कॉज के माध्यम से लिखित जवाब मांगा जा रहा है, जिस पर पीडीएस डीलरों ने 12000 चिह्नित राशन कार्ड रद्द करने की अनुशंसा की है.

author-image
Ritu Sharma
New Update
Ration Card News

Ration Card News

Advertisment

Ration Card News: पूर्वी सिंहभूम जिले में छह महीने या उससे अधिक समय से राशन नहीं उठाने वाले लगभग 12,000 लोगों के राशन कार्ड को रद्द करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है. इस फैसले में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (एनएफएसए) और राज्य खाद्य सुरक्षा योजना के तहत जारी किए गए ग्रीन राशन कार्ड भी शामिल हैं. खास बात यह है कि यह सभी 12,000 राशन कार्ड शहरी क्षेत्रों से संबंधित हैं, जिनमें जमशेदपुर अक्षेस क्षेत्र, गोलमुरी सह जुगसलाई क्षेत्र, जुगसलाई नगर परिषद और मानगो नगर निगम क्षेत्र शामिल हैं.

कैसे सामने आया मामला?

आपको बता दें कि राशन कार्ड रद्द करने का यह मामला तब प्रकाश में आया जब जिले में सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) दुकानों से खाद्यान्न वितरण की ऑनलाइन मॉनिटरिंग की जा रही थी. इस मॉनिटरिंग के दौरान यह पाया गया कि कुछ पीडीएस डीलरों का वितरण प्रतिशत बहुत कम था. इसके बाद, पूर्वी सिंहभूम के डीसी के आदेशानुसार, इन डीलरों को शो-कॉज नोटिस जारी किया गया और उनसे लिखित में जवाब मांगा गया. डीलरों ने अपने जवाब में उन राशन कार्डधारकों की जानकारी दी, जिन्होंने पिछले छह महीनों से राशन नहीं उठाया था और उन्होंने ऐसे 12,000 राशन कार्डों को रद्द करने की अनुशंसा की.

यह भी पढ़ें: CM योगी ने युवाओं को लेकर किया बड़ा ऐलान, इस योजना से इतने लोगों को मिलेगा लाभ

वैध कारण पर पुनः समीक्षा का प्रावधान

हालांकि, जिला प्रशासन ने यह भी स्पष्ट किया है कि यदि कोई कार्डधारक वैध कारण के साथ आवेदन करता है और यह सिद्ध कर सकता है कि उसने क्यों राशन नहीं उठाया, तो उसका आवेदन विभागीय पदाधिकारियों द्वारा समीक्षा के बाद स्वीकार किया जा सकता है. इस स्थिति में, संबंधित कार्डधारक का राशन कार्ड पुनः जारी किया जा सकता है. हालांकि, यह प्रक्रिया विभागीय पदाधिकारी द्वारा जिले में राशन कार्ड के कोटे की रिक्तियों के अनुरूप ही संचालित की जाएगी.

कोविड काल में बनी थी राशन कार्ड की बड़ी संख्या

आपको बता दें कि जमशेदपुर के शहरी क्षेत्रों में जिन 12,000 राशन कार्डों को रद्द किया जा रहा है, वे अधिकांशतः कोविड महामारी के समय बने थे. महामारी के दौरान सरकारी योजनाओं के तहत बड़ी संख्या में राशन कार्ड जारी किए गए थे, ताकि अधिक से अधिक लोगों को खाद्य सुरक्षा मिल सके. लेकिन, पिछले छह महीनों से इन राशन कार्डों का उपयोग नहीं किया गया, जिससे यह आशंका उत्पन्न हुई कि ये कार्ड अब जरूरतमंदों के काम नहीं आ रहे हैं.

पलायन हो सकता है राशन नहीं उठाने का कारण

इसके अलावा आपको बता दें कि जिला प्रशासन का मानना है कि राशन कार्डधारकों के राशन नहीं उठाने के पीछे एक संभावित कारण पलायन हो सकता है. आर्थिक कारणों या रोजगार की तलाश में जिले से बाहर गए लोग हो सकते हैं, जिन्होंने लंबे समय से राशन नहीं उठाया. इस स्थिति को स्पष्ट करने के लिए प्रशासन द्वारा प्रत्येक कार्डधारक के घर का भौतिक सत्यापन किया जाएगा। यह सत्यापन ही यह तय करेगा कि कार्डधारक ने राशन क्यों नहीं उठाया और क्या उसका राशन कार्ड रद्द किया जाना चाहिए या नहीं.

वहीं पूर्वी सिंहभूम जिला प्रशासन का यह कदम जहां एक ओर खाद्य सुरक्षा योजनाओं की प्रभावशीलता को बढ़ाने का प्रयास है, वहीं यह सुनिश्चित करेगा कि जरूरतमंद लोगों को ही सरकारी योजनाओं का लाभ मिल सके. ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि आगे की जांच और सत्यापन के बाद कितने राशन कार्ड वास्तव में रद्द होते हैं और कितनों को पुनः बहाल किया जाता है.

Bihar News hindi news Breaking news Bihar breaking news today Bihar Breaking News Bihar breaking Jharkhand Jharkhand news today One Nation One Ration Card News ration card news ration card news in india latest Jharkhand news in Hindi Jharkhand news update Free Ration Card news Jharkhand News Hindi
Advertisment
Advertisment
Advertisment