सेना की जमीन से जुड़े मामले में ईडी की निलंबित IAS छवि रंजन से पूछताछ जारी है. सेना के कब्जे वाली जमीन के मालिक जयंत कर्नाड से भी ED पूछताछ कर रही है. लगातार चौथे दिन छवि रंजन से पूछताछ हो रही है. निलंबित IAS 6 दिनों की ED रिमांड पर हैं. 12 मई को ये रिमांड खत्म होगी. ईडी की जांच में जानकारी सामने आई है कि सेना की कब्जे वाली जमीन के फर्जी कागजात बनाकर प्रदीप बागची ने कब्जे में लिया था. जिसके बाद जमीन को जगतबंधु टी स्टेट के निदेशक दिलीप घोष को बेचा गया था. आपको बता दें कि जमीन के मालिक जयंत कर्नाड के साथ ही ईडी ने खरीद बिक्री में शामिल 13 लोगों को समन जारी कर हाजिर होने का निर्देश दिया है.
क्या है सेना जमीन घोटाला ?
- सेना की जमीन का गलत तरीके से खरीद-बिक्री
- फर्जी कागजात के आधार पर की गई खरीद-बिक्री
- सेना के कब्जे वाली 4.55 एकड़ जमीन पर फर्जीवाड़ा
- रडार पर रांची के पूर्व डीसी छवि रंजन सहित 18 लोग
- 18 लोगों के 22 ठिकानों पर हुई थी ED की छापेमारी
- छापेमारी के बाद 7 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया
छवि रंजन की बढ़ी मुश्किलें
- PMLA कोर्ट ने 6 दिनों की ED रिमांड पर भेजा
- 7 मई से 12 मई तक ED रिमांड पर रहेंगे छवि रंजन
- ED ने PMLA कोर्ट से 10 दिनों की मांगी थी रिमांड
- शुक्रवार को PMLA कोर्ट में हुई थी छवि रंजन की पेशी
- छवि रंजन को 1 दिन के लिए भेजा गया था रिमांड पर
- आज फिर छवि रंजन की PMLA कोर्ट में हुई थी पेशी
- आज कोर्ट में पेशी के बाद बढ़ाई गई रिमांड
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कैसे शुरू हुई सेना जमीन घोटाले की जांच?
- रांची के तत्कालीन आयुक्त नितिन मदन कुलकर्णी ने तैयार की रिपोर्ट
- नितिन मदन कुलकर्णी से सरकार को सौंपी थी रिपोर्ट
- रिपोर्ट में फर्जी नाम और पता के आधार पर जमीन कब्जा का था जिक्र
- ईडी ने रिपोर्ट के आधार पर जमीन घोटाले की जांच की शुरू
ED ने कब-कब की छापेमारी?
- पहली रेड नवंबर 2022 को हुई थी. इस दौरान व्यापारी विष्णु अग्रवाल के ठिकानों पर छापेमारी हुई थी. अमित अग्रवाल के ठिकानों पर भी छापेमारी हुई थी.
- दूसरी रेड 13 अप्रैल को हुई. इस दौरान छवि रंजन के ठिकानों पर छापेमारी हुई. बड़गाईं के अंचलाधिकारी मनोज के ठिकानों पर छापा मारा गया. कर्मचारी भानु प्रताप के ठिकानों पर भी रेड हुई थी. जमीन के कारोबार से जुड़े 21 ठिकानों पर भी छापेमारी हुई थी.
- तीसरी रेड 24 अप्रैल को हुई. इस दौरान पीपीएस उदय शंकर के ठिकानों पर छापेमारी हुई.
- चौथी रेड 26 अप्रैल को हुई. इस दौरान इस दौरान हुई.
विवादों के 'छवि'!
छवि रंजन ने हेहल मौजा की 7.16 एकड़ जमीन की पुरानी जमाबंदी रद्द करवाकर विनोद सिंह के नाम पर म्यूटेशन करवा दिया था. पुरानी जमाबंदी साहू परिवार की थी, जिसके मालिक मालगोविंद साहू थे. इतना ही नहीं, एक ही दिन में विनोद सिंह के नाम पर 82 साल का लगान रसीद का भी भुगतान करवा दिया था. इसके बाद छवि रंजन ने मजिस्ट्रेट और सुरक्षा बलों की प्रतिनियुक्ति करवाई और पुलिस की उपस्थिति में विरोध के बाद भी जमीन की बाउंड्री करवा दी.
नामकुम में भी जमीन पर दिलाया कब्जा
ईडी की छानबीन में पता चला है कि विष्णु अग्रवाल व छवि रंजन के बीच गहरे संबंध थे. छवि रंजन ने विष्णु अग्रवाल को नामकुम मौजा के पुगड़ू में खरीद-बिक्री नहीं होने वाली जमीन पर अवैध तरीके से कब्जा दिलाया था. राज्य सरकार ने इस मामले की जांच कराने का आदेश दिया था.
एडवोकेट राजीव कुमार को धमकाया
ईडी को पता चला है कि छवि रंजन के प्रेम प्रकाश और अमित अग्रवाल से अच्छे संबंध थे. छवि ने अमित के खिलाफ दायर जनहित याचिका वापस लेने के लिए एडवोकेट राजीव कुमार को धमकाया था. सीबीआई दिल्ली ने भी अमित अग्रवाल के खिलाफ केस दर्ज किया है. अमित अग्रवाल पर न्यायिक और सरकारी अधिकारियों की छवि धूमिल करने की कोशिश का आरोप है.
HIGHLIGHTS
- सेना जमीन घोटाला मामले से जुड़ी खबर
- निलंबित IAS छवि रंजन से पूछताछ जारी
- जयंत कर्नाड से भी ED कर रही पूछताछ
- लगातार चौथे दिन छवि रंजन से हो रही पूछताछ
Source : News State Bihar Jharkhand