आदिवासी जिले साहिबगंज में सरकार की महत्वकांक्षी योजना में अधिकारी पलीता लगाने का काम कर रहे हैं. सूबे की सरकार गरीबों को मुफ्त अनाज उपलब्ध कराने के चाहे लाख दावे कर ले, लेकिन जिले के विभागीय अधिकारियों की मिलीभगत से राशन डीलर गरीबों के हक का निवाला डकार रहे हैं. मामला जिले के मंडरो प्रखंड का है. जहां कार्डधारियों का जिले के जिम्मेदार पदाधिकारियों पर आरोप है कि उनको मिलने वाले पीडीएस अनाज में भारी कटौती कर उनका हक मारा जा रहा है. उनके साथ हो रहे इस गड़बड़झाले की शिकायत लगातार की जा रही है, लेकिन उनकी सुनने वाला कोई नहीं है. मंडरों प्रखंड के बड़तल्ला पंचायत के तेतरिया गांव और पिंडरा पंचायत में राशन डीलर के द्वारा कार्ड धारियों को कम राशन दिया जा रहा है. जिसको लेकर आए दिन दुकानदार और ग्रामीणों के बीच विवाद होता है.
गरीबों के निवाले पर अधिकारियों का डाका!
राशन कार्ड धारी लगातार हंगामा कर रहे हैं, लेकिन सुनने वाला कोई नहीं है. उनके हक का राशन मारा जा रहा है और जिम्मेदार अधिकारी मस्त हैं. आखिर अधिकारी ग्रामीणों की बात सुने भी कैसे, जब वो खुद इस बंदरबांट के खेल में शामिल हैं. अब थक हारकर ग्रामीणों ने जिले के डीसी रामनिवास यादव से मामले में जांच कर कार्रवाई की मांग की है. झारखंड की सोरेन सरकार जहां गरीबों को सस्ता राशन उपलब्ध कराने के लिए लगातार प्रतिबद्ध है, तो वहीं उनके जिम्मेदार अधिकारी की गरीबों के हिस्से के राशन को डकारने में लगे हैं.
सरकार के ड्रीम प्रोजेक्ट को सिस्टम कर रहा फेल?
ग्रामीणों ने जो आरोप लगाए हैं, वो गंभीर हैं. आरोपों के मुताबिक राशन डीलर और अधिकारी उनके हक हक का राशन हजम कर जा रहे हैं और गरीब ग्रामीण दर-दर भटक रहे हैं. अब ग्रामीणों ने जब जिले के डीसी से मामले की शिकायत की है, तो देखना होगा कि इस बात का खुलासा हो पाएगा कि आखिर ग्रामीणों को उनके हक का पूरा राशन क्यों नहीं मिल रहा है.
HIGHLIGHTS
- राशन डीलर डकार रहे है गरीबों का निवाला
- अधिकारियों की मिलीभगत से बंदरबांट का खेल!
- सरकार के ड्रीम प्रोजेक्ट को सिस्टम कर रहा फेल?
Source : News State Bihar Jharkhand