झारखंड में विधानसभा चुनाव सिर पर हैं. इस बीच सरायकेला जिले में धड़ल्ले से चल रही अवैध शराब की फैक्ट्री पर उत्पाद विभाग का छापा पड़ गया. टीम ने छापेमारी कर स्टीकर, हजारों की संख्या में ढक्कन, स्टांप के साथ सील करने वाली मशीन, क्यूआर कोड लगाने वाली मशीन, भारी मात्रा में स्प्रिट के ड्रम और शराब की बोतलें जब्त की हैं.
वहीं, हैरानी कर देने वाली बात है कि भारत सरकार से मान्यता प्राप्त आईटीआई की बिल्डिंग में नकली शराब बनाने की फैक्ट्री का बेधड़क संचालन हो रहा था.
इस मामले पर उत्पाद विभाग के अवर निरीक्षक नीरज कुमार ने बताया कि उन्हें गुप्त सूचना मिली थी कि छोटा गम्हरिया में अवैध शराब बनाने की फैक्ट्री संचालित हो रही है. इसके बाद मामले की जानकारी सरायकेला खरसावां के उपायुक्त को दी गई. उन्होंने उत्पाद विभाग के जवानों की टीम का गठन किया.
टीम ने रात के अंधेरे में मीरा सदन नाम की बिल्डिंग पर धावा बोल दिया. बिल्डिंग के दरवाजे पर ताले लटके थे. रॉड से ताले तोड़कर बिल्डिंग के अंदर टीम घुसी. उन्होंने बताया कि कार्रवाई को गुप्त रखा गया था.
धड़ल्ले से चल रही थी धंधा
टीम ने स्थानीय थाने की भी सहायता नहीं ली और छापेमारी करने पहुंच गई. यहां ऐसे सामानों का बरामदगी हुई जिसे सरकार की तरफ से इस्तेमाल किया जा सकता है. नीरज कुमार ने बताया कि उत्पाद विभाग से तहरीर दी गयी थी कि स्थानीय थाने की मिलीभगत से गोरखधंधा चल रहा है.
विधानसभा चुनाव तक जारी रहेगा अभियान
बता दें कि विधानसभा चुनाव से पहले उत्पाद विभाग एक्शन मोड में है. अधिकारी ने बताया कि विधानसभा चुनाव तक यह अभियान लगातार जारी रहेगा. अवैध शराब के रैकेट की सूचना विभाग को मिल चुकी है.
इस धंधे में सरकारी शराब के दुकानदार भी शामिल हैं. काउंटरों पर धड़ल्ले से नकली शराब बेचे जा रहे हैं. ऐसे में लोगों को भी खासा सावधान बरतने की जरूरत है. चुनाव के दौरान शराब प्रलोभन का बड़ा जरिया बनती है. शराब परोसकर वोट बटोरने के प्रयास किये जाते हैं.