पलायन की खबरों के बीच मंडला जिला में मानव तस्करी के कई मामले सामने आते रहे हैं. इसी बीच एक नाबालिग लड़की को रेस्क्यू करने में पुलिस को कामयाबी मिली है. इस लड़की को दिल्ली पुलिस एवं महिला आयोग ने देवास की एक एनजीओ के सहयोग से रेस्क्यू किया है. बता दें कि काम दिलाने के नाम पर इस नाबालिग को दिल्ली ले जाकर बेच दिया गया.
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जानकारी के अनुसार, 15 साल की नाबालिग लड़की मंडला जिले के घुघरी तहसील के किसली गांव की रहने वाली है. इस नाबालिग लड़की को कुछ स्थानीय लोगों के द्वारा काम दिलाने के नाम पर बहला-फुसलाकर बाहर ले जाया गया और वहां जाकर उसे बेच दिया गया. बड़ी मशक्कत की बाद जब लड़की ने अपने घर वालों से संपर्क किया, तब उसने अपनी दादी से आपबीती बताई.
जिसके बाद लड़की की दादी ने जन सहयोग संस्था के हेल्पलाइन नंबर पर शिकायत की. एनजीओ और दिल्ली महिला आयोग की सदस्य की मदद ली गई. काफी तलाश के बाद 29 जुलाई को लड़की को बरामद करने में पुलिस को सफलता प्राप्त हुई. लड़की को मनोज उर्फ गोलू नाम का शख्स ने दिल्ली के करोल बाग में बंधक बनाकर रखा था. साथ ही हमेशा उस पर नजर रखी जाती थी. पुलिस उसे मंडला ले आई है.
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रेस्क्यू की गई लड़की और उसकी बुजुर्ग दादी के अनुसार, उसे जान का खतरा है. वहीं पुलिस अधीक्षक आर.आर.एस. परिहार ने बताया दिल्ली के करोल बाग में तीन आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई है. साथ ही पुलिस जांच कर रही है, जिसके बाद मानव तस्करी के और तार खोल सकते हैं.
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