मध्य प्रदेश नगरीय निकाय चुनाव में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष बारिश में भींगते हुए रोड शो करते नजर आ रहे हैं. नगरीय निकाय चुनाव इन दोनों नेताओं के राजनीतिक कद के हिसाब से छोटा चुनाव है, फिर भी दोनों नेताओं ने अपनी पूरी ताकत झोंक दिया है. इन चुनाव से प्रदेश की सरकार का कुछ बनना बिगड़ा नहीं है, इसके बावजूद दोनों नेताओं ने जिस तरह से अपनी ताकत लगाई है, उससे साफ है कि इन दोनों की साख इन चुनावों में लगी हुई है.
मध्यप्रदेश में अगले साल विधानसभा चुनाव होना है. निकाय चुनाव से कहीं ना कहीं यह साफ हो जाएगा कि कि प्रदेश की जनता का झुकाव किस पार्टी की ओर है. ऐसे में यह चुनाव इन दोनों नेताओं के लिए काफी अहम है. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान शनिवार को भोपाल में महापौर प्रत्याशी मालती राय के लिए रोड शो कर रहे थे. बारिश होने पर भी उन्होंने रोड शो रोकने से मना कर दिया. वहीं कमलनाथ छिंदवाड़ा में शुक्रवार की रात बारी बारिश के बावजूद गाड़ी से बाहर आकर लोगों से मिले.
मध्यप्रदेश में अलगे साल होने वाले विधानसभा चुनावों में इस बात पूरी संभावना है कि मुख्यमंत्री के लिए शिवराज सिंह चौहान और कमलनाथ के ही चेहरे सामने होंगे. बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने भी इस बात के संकेत दिए हैं. वहीं प्रदेश कांग्रेस विधायकों की मीटिंग में कमलनाथ को विधानसभा चुनाव 2023 के लिए मुख्यमंत्री का चेहरा घोषित किया जा चुका है.
निकाय चुनाव में आम मतदाता बीजेपी और कांग्रेस दोनों के ही प्रति उदासीन दिखाई दे रही है. कांग्रेस अपनी 15 महीनों की सरकार में अपनी छाप नहीं छोड़ पायी वहीं बीजेपी की सरकार से लोग नाराज भी दिखाई दे रहे हैं. ऐसे में अब यह निकाय चुनाव उम्मीदवारों के साथ-साथ शिवराज सिंह चौहान और कमलनाथ के लिए भी अहम हो गया है.
Source : Nitendra Sharma