कोरोना वायरस के कारण लॉकडाउन में फंसे मजदूरों की समस्याओं के शीघ्र समाधान की मांग करते हुए सामाजिक कार्यकर्ता मेधा पाटकर ने मध्यप्रदेश के बड़वानी जिले के सेंधवा कस्बे के निकट विरोध प्रदर्शन किया. पाटकर ने सोमवार को विरोध प्रदर्शन करते हुए आरोप लगाया कि प्रतिबंध बिना किसी योजना के लगाए गए तथा राज्य और केन्द्र की बीच कोई समन्वय नहीं है. उन्होंने कहा, ‘‘श्रमिक बिना वेतन लिए अपने घर से निकल गए हैं. उन्हें जीवित रहने के लिए खाद्यान्न मुफ्त नहीं तो मामूली कीमत पर दिया जाना चाहिये.’’
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पाटकर ने कहा कि श्रमिक राष्ट्रीय राजमार्ग पर असहाय रूप से चल रहे हैं. वे अपने श्रम से उत्पादित सामान से लदे ट्रकों पर भी सवार नहीं हो सकते हैं. जैसी व्यवस्था विद्यार्थियों के लिए की गयी वैसी श्रमिकों के लिए भी होनी चाहिए. लेकिन इस देश में ऐसी सरल समझ का भी अभाव है.’’
पाटकर ने मांग की कि श्रमिकों को प्रधानमंत्री नागरिक सहायता एवं अपात स्थिति कोष (पीएम-केयर्स फंड) से सहायता दी जानी चाहिये. उन्होंने सामाजिक संगठनों से इस मामले में अहिंसक विरोध प्रदर्शन करने की भी अपील की है.
Source : Bhasha