मध्य प्रदेश में आयकर विभाग की कार्रवाई के बाद राज्य के ई-टेंडरिंग मामले में कंप्यूटर इमर्जेंसी रेस्पॉन्स टीम (सीईआरटी) की रपट में गड़बडी की बात सामने आने पर आर्थिक अन्वेषण शाखा (ईओडब्ल्यू) ने प्राथमिकी दर्ज कर ली है. ईओडब्ल्यू ने धोखाधड़ी, सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम के तहत प्रकरण दर्ज किए हैं.
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सूत्रों के अनुसार, ई-टेंडरिंग में लगभग 3000 करोड़ रुपये से ज्यादा के घोटाले की आंशका है और कांग्रेस ने अपने विधानसभा के चुनावी वचन-पत्र में ई-टेंडरिंग घोटाले की जांच और दोषियों को सजा दिलाने का वादा किया था.इस मामले की जांच ईओडब्ल्यू के पास थी. इस मामले में ईओडब्ल्यू ने सीईआरटी की मदद ली, सीईआरटी ने अपनी रपट में यह बात मानी है कि ई-टेंडरिंग में छेड़छाड़ हुई है.इसी रपट के आधार पर ईओडब्ल्यू ने पांच विभागों, सात कंपनियों और अज्ञात अधिकारियों व राजनेताओं के खिलाफ मामला दर्ज किया है.
ईओडब्ल्यू सूत्रों ने बुधवार को इस बात का खुलासा किया है कि सीईआटी की रपट आने के बाद आईपीसी की धारा 420,468,471, 120बी, और 66 आईटी एक्ट, सात सी और प्रीवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट 2018 की धारा 13 (दो) के तहत प्रकरण दर्ज किया है.
Source : News Nation Bureau