मध्य प्रदेश के कृषि मंत्री कमल पटेल ने राजीव गांधी फाउंडेशन को चीन से चंदा मिलने के बाद आयात में दी गई रियायतों के लिए तत्कालीन वाणिज्य मंत्री कमलनाथ की भूमिका को संदिग्ध बताते हुए पूरे मामले की सीबीआई से जांच कराने की मांग की है. कमल पटेल ने इस संबंध में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह को पत्र भेजा है. कृषि मंत्री पटेल ने मीडिया से मिल रही जानकारियों के आधार पर शुक्रवार को कहा, "चीन एवं तत्कालीन यूपीए सरकार के गहरे संबंध नकारे नहीं जा सकते. सोनिया गांधी की अध्यक्षता वाले राजीव गांधी फाउंडेशन को दान के नाम पर पीपल रिपब्लिक ऑफ चाइना के दूतावास से करोड़ो रुपये की वित्तीय सहायता मिली है."
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कमल पटेल ने कांग्रेस और पूर्ववर्ती सरकार के रवैए पर सवाल उठाते हुए कहा कि चीन के साथ जारी सीमा विवाद के दौरान पूर्व यूपीए सरकार का नरम रवैया इसी आर्थिक सहायता के कारण तो नहीं रहा.
कमल पटेल ने गृहमंत्री को लिखे पत्र में कहा है कि सोनिया गांधी और राहुल गांधी ही नहीं तत्कालीन यूपीए सरकार में वाणिज्य मंत्री रहे कमलनाथ ने चीन से आयात हेतु अनापेक्षित रियायत दी थीं, यह भी शक पैदा करता है कहीं यह उदारता राजीव गांधी फाउंडेशन को मिली आर्थिक सहायता के कारण तो नहीं दिखाई गई थी.
उन्होंने कहा कि पाकिस्तान उच्च आयुक्त के माध्यम से यदि किसी व्यक्ति विशेष अथवा संस्था को किसी प्रकार की आर्थिक सहायता दी जाती है तो यह माना जाता है कि वह कहीं न कहीं आतंकवादी गतिविधि में उपयोग हो रही है. पटेल ने यूपीए सरकार के समय चीन से मिली आर्थिक सहायता और आयात में दिए गए अनुचित लाभ तथा संपत्तियों की सीबीआई जांच कराने की मांग की है जिससे कांग्रेस का सच देश के सामने आ सके.