Zika virus cases from Maharashtra: केंद्र सरकार ने बुधवार को सभी राज्यों के लिए एक महत्वपूर्ण एडवाइजरी जारी की है, जो हाल ही में महाराष्ट्र में पाए गए जीका वायरस के मामलों के संदर्भ में है. इस एडवाइजरी में सरकार ने सभी राज्यों से आग्रह किया है कि वे अपने क्षेत्रों में गर्भवती महिलाओं में जीका वायरस की जांच के जरिए निरंतर निगरानी बनाए रखें. केंद्र ने राज्यों को सलाह दी है कि वे गर्भवती महिलाओं में संक्रमण की जांच करें और यदि कोई महिला जीका पॉजिटिव पाई जाती है, तो उसके भ्रूण के विकास पर भी कड़ी निगरानी रखी जाए.
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डॉक्टरों के लिए सतर्कता का निर्देश
स्वास्थ्य और कल्याण मंत्रालय ने अपनी एडवाइजरी में कहा है कि जीका वायरस से प्रभावित गर्भवती महिला के भ्रूण में माइक्रोसेफली और न्यूरोलॉजिकल समस्याओं का खतरा होता है. इसलिए, राज्यों को सलाह दी गई है कि वे डॉक्टरों को इस संबंध में सतर्क करें. राज्यों से यह भी आग्रह किया गया है कि वे प्रभावित क्षेत्रों में स्वास्थ्य सुविधाओं को इस वायरस के मामलों को संभालने के लिए तैयार रखें. डॉक्टरों को गर्भवती महिलाओं की जांच और जीका पॉजिटिव पाए जाने वाली महिलाओं के भ्रूण की निगरानी के लिए निर्देश दिए गए हैं.
Union Health Ministry issues advisory to states in view of Zika virus cases from Maharashtra. States urged to maintain a state of constant vigil through screening of pregnant women for Zika virus infection and monitoring the growth of foetus of expecting mothers who tested… pic.twitter.com/lHFZkDfn5i
— ANI (@ANI) July 3, 2024
निगरानी और नियंत्रण की गतिविधियां
मंत्रालय ने एडवाइजरी में आवासीय क्षेत्रों, कार्यस्थलों, स्कूलों, निर्माण स्थलों, संस्थानों और स्वास्थ्य सुविधाओं में कीट विज्ञान निगरानी (एंटोमोलॉजिकल सर्विलांस) को मजबूत करने और वेक्टर नियंत्रण गतिविधियों को तेज करने पर जोर दिया है. राज्यों को सलाह दी गई है कि वे वायरस का समय पर पता लगाने और नियंत्रण के लिए सतर्क रहें, तैयार रहें और सभी स्तरों पर उपयुक्त रसद की उपलब्धता सुनिश्चित करें.
जागरूकता बढ़ाने के प्रयास
एडवाइजरी में यह भी कहा गया है कि राज्यों को समाज के बीच डर को कम करने के लिए सोशल मीडिया और अन्य प्लेटफार्मों पर एहतियाती संदेशों के माध्यम से जागरूकता बढ़ाने पर जोर देना चाहिए. जीका वायरस किसी अन्य वायरल संक्रमण की तरह ही है, जिसके अधिकांश मामले लक्षणहीन और हल्के होते हैं. हालांकि, इसे माइक्रोसेफली से जोड़ा गया है, लेकिन 2016 के बाद से देश में जीका से जुड़े माइक्रोसेफली का कोई मामला सामने नहीं आया है.
जीका वायरस के बारे में जानकारी
वहीं जीका वायरस डेंगू और चिकनगुनिया की तरह एडीज मच्छर के काटने से फैलने वाली वायरल बीमारी है. यह एक गैर-घातक बीमारी है, लेकिन गर्भवती महिलाओं से संक्रमित होने पर पैदा होने वाले शिशुओं में माइक्रोसेफली (सिर का आकार कम होना) का खतरा होता है. इसीलिए यह एक बड़ी चिंता का विषय बनता है.
भारत में जीका वायरस के मामले
भारत में जीका वायरस का पहला मामला 2016 में गुजरात में सामने आया था. तब से, तमिलनाडु, मध्य प्रदेश, राजस्थान, केरल, महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, दिल्ली और कर्नाटक सहित कई राज्यों में इसके मामले सामने आ चुके हैं. इस वर्ष (2024) 2 जुलाई तक महाराष्ट्र में 8 जीका वायरस के मामले सामने आए हैं, जिनमें पुणे से 6, कोल्हापुर और संगमनेर से एक-एक मामले शामिल हैं.
HIGHLIGHTS
- महाराष्ट्र में मिले जीका वायरस के मामले
- केंद्र सरकार ने सभी राज्यों को अलर्ट रहने का निर्देश
- डाक्टरों को निगरानी के लिए अलर्ट
Source : News Nation Bureau