Chhatrapati Shivaji Maharaj Statue News: महाराष्ट्र में छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा के ढहने की घटना ने राज्य में एक नया विवाद खड़ा कर दिया है. इस घटना के बाद विपक्ष ने राज्य सरकार और मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे पर तीखा हमला बोला है. शिवसेना (UBT) के सांसद और प्रवक्ता संजय राउत ने इस मुद्दे पर सीएम शिंदे के साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर भी गंभीर आरोप लगाए हैं. उन्होंने इसे महाराष्ट्र की प्रतिष्ठा के लिए एक बड़ी शर्मिंदगी करार दिया है.
सत्ता के नशे में सरकार पर हमला
आपको बता दें कि संजय राउत ने महायुति सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि सत्ता का नशा कुछ लोगों के सिर पर इस कदर चढ़ गया है कि उन्हें अब जमीन पर टिकना मुश्किल हो रहा है. हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सिंधुदुर्ग किले पर भारतीय सेना के एक कार्यक्रम का उद्घाटन किया था, जिसे जल्दबाजी में किया गया. इस कार्यक्रम को लेकर कोल्हापुर के संभाजी राजे छत्रपति समेत कई लोगों ने सवाल उठाए थे, लेकिन उनकी बातों को नजरअंदाज कर दिया गया.
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सीएम शिंदे पर गंभीर आरोप
वहीं संजय राउत ने आरोप लगाया कि इस कार्यक्रम से जुड़े ठेकेदार मुख्यमंत्री के करीबी थे. उन्होंने कहा कि, ''छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा का गिरना न केवल एक ऐतिहासिक धरोहर का नुकसान है, बल्कि यह महाराष्ट्र की प्रतिष्ठा पर भी आघात है.'' राउत ने प्रशासन पर भी निशाना साधते हुए कहा कि वे तेज हवा का बहाना बना रहे हैं, लेकिन सच तो यह है कि ''हवा उनके दिमाग में घुस गई है.''
इतिहास में गहरी नजर
साथ ही आपको बता दें कि संजय राउत ने इतिहास के पन्नों का हवाला देते हुए कहा कि 1933 में गिरगांव चौपाटी पर समुद्र किनारे लोकमान्य तिलक की प्रतिमा स्थापित की गई थी, जो आज भी मजबूती से खड़ी है. इसी तरह, छत्रपति शिवाजी महाराज के प्रतापगढ़ किले पर भी एक प्रतिमा है, जिसका अनावरण पूर्व प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने किया था. वह प्रतिमा आज भी वहां मजबूती से खड़ी है, लेकिन केवल 8 महीने पुरानी शिवाजी महाराज की प्रतिमा का गिर जाना भ्रष्टाचार की गहराई को उजागर करता है. यह घटना महाराष्ट्र के लिए एक गहरा आघात है और राज्य की प्रतिष्ठा को ठेस पहुंचाने वाली है.
प्रधानमंत्री मोदी पर हमला
इसके अलावा आपको बता दें कि संजय राउत ने प्रधानमंत्री मोदी पर भी हमला बोलते हुए कहा कि मराठी में एक कहावत है, ''हाथ लावेन ठीठे सोना होत,'' यानी जहां भी हाथ लगाओ, वहां सोना हो जाता है. लेकिन आज स्थिति इसके उलट हो गई है. उन्होंने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री जहां भी हाथ लगाते हैं, वहां सब कुछ खराब हो जाता है. चाहे वह अयोध्या का राम मंदिर हो, संसद भवन हो, या कोई अन्य परियोजना, सभी जगहों पर समस्याएं और भ्रष्टाचार सामने आ रहे हैं. राउत ने कहा कि यह स्थिति न तो श्रद्धा है और न ही अंधश्रद्धा, बल्कि यह एक गंभीर समस्या है जिसे नजरअंदाज नहीं किया जा सकता.
महाविकास आघाड़ी की कड़ी प्रतिक्रिया
आपको बता दें कि शिवाजी महाराज जैसे महानायक के नाम पर हो रहे इस भ्रष्टाचार ने पूरे महाराष्ट्र को शर्मसार कर दिया है. महाविकास आघाड़ी ने इस मुद्दे को गंभीरता से लेते हुए आगे कड़े कदम उठाने की योजना बनाई है. उनका कहना है कि इस घटना ने राज्य की प्रतिष्ठा पर गहरी चोट की है और इसे बर्दाश्त नहीं किया जा सकता.