महाराष्ट्र में कोरोना के मामले लगातार बढ़ते ही जा रहे हैं. कोरोना के बढ़ते मामलों को लेकर राज्य के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के माथे पर चिंता की लकीरें खिंच गई हैं. महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कोरोना के बढ़ते मामलों से निपटने के लिए आज सर्वदलीय बैठक बुलाई थी. बैठक में सीएम ठाकरे ने सीधे तौर पर इस बात का ऐलान किया है कि महाराष्ट्र में कोरोना के बढ़ते मामलों की वजह से सख्त लॉकडाउन की जरूरत है. सीएम ठाकरे ने वर्चुअल बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि अगर सख्त लॉकडाउन नहीं लगाया गया तो 15 अप्रैल तक स्थितियां बेहद खराब हो सकती हैं.
लॉकडाउन के अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं है. कोरोना की चेन तोड़ना जरूरी है. टीका लगाने के बाद भी लोग संक्रमित हो रहें हैं. बैठक के बाद सीएम उद्धव ठाकरे ने आठ दिन का संपूर्ण लॉकडाउन का संकेत दिया. एक सप्ताह बाद कुछ रियायतें दी जाएंगी. सीएम उद्धव ने कहा कि बैठक में बेहद ही अच्छे सुझाव आए. उन्होंने कहा कि लोगों को कुछ दिक्कतें आएंगी. कोरोना केस तेजी से बढ़ रहे हैं. कुछ निर्णय लेने होंगे. अगर सभी रास्तों पर उतर आए, तो कोरोना की रफ्तार पर रोक कैसे लगेगी. उन्होने कहा कि दो-तीन दिन में फिर समीक्षा करेंगे.
महाराष्ट्र के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने कहा है फिलहाल 50 हजार रेमडेसिविर इंजेक्शन की जरूरत है. महीने भर में एक लाख से ज्यादा रेमडेसिविर की जरूरत पड़ सकती है. उन्होंने कहा कि इस इंजेक्शन की कालाबाजारी हो रही है, इसे रोकना बेहद जरूरी है. पुणे और मुंबई जैसे शहर में ट्रेसिंग करना बहुत मुश्किल है. रेमडेसिविर के बारे में निजी अस्पतालों से पूछा जाएगा. इस पर सीएम उद्धव ठाकरे ने कहा कि रेमडेसिविर जल्द कैसे मिले ये देखना होगा. ऑक्सीजन का स्टॉक जल्द मुहैय्या कराया जाए.
बीजेपी नेता चंद्रकांत पाटील ने बताया कि बैठक में अभी कोई फैसला नहीं हुआ है़. लेकिन सीएम की भुमिका लॉकडाउन लगाने की दिख रही हैं. पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा है कि लॉकडाउन लगाने से पहले पुरी योजना बनायी जाए ताकि लोगों की ज्यादा परेशानी ना झेलना पड़े. अगले सोमवार को अजित पवार इस सिलसिले में बैठक लेंगे. अशोक चव्हाण ने कहा कि कड़क लॉकडाउन कुछ दिन के लिए होना चाहिए. उसके बाद धीरे धीरे रियायत देनी चाहिए. लॉकडाउन का स्वरुप क्या होगा यह सीएम ही तय करेंगे. कोरोना केस को कंट्रोल में लाना सबसे जरुरी हैं
Source : News Nation Bureau