Maharashtra News: महाराष्ट्र के यवतमाल में अवैध कोयले (illegal coal)की बिक्री के खिलाफ पुलिस और क्राइम ब्रांच ने बड़ी कार्रवाई की है. यवतमाल की वानी पुलिस ने स्थानीय क्राइम ब्रांच के साथ मिलकर कोयले की तस्करी करने वाले गिरोह के कुछ सदस्यों को गिरफ्तार किया है. इसके साथ ही पुलिस ने कोयले से भरे 8 ट्रकों को भी अपने कब्जे में लिया है. बताया जा रहा है अवैध रूप स चल रहे कोयले की तस्करी से सरकार को करोड़ों का नुकसान हो रहा था. कोयला तस्करों के खिलाफ अब सरकार अभियान चलाकर कार्रवाई करेगी..
यह भी पढ़ें : UP Scholarship 2023: स्टूडेंट्स का इंतजार खत्म, इस दिन खाते में क्रेडिट होगी धनराशि
पुलिस का जॉइंट ऑपरेशन
यवतमाल पुलिस से मिली जानकारी के मुताबिक इस पूरे आपरेशन की तैयारी पुलिस ने उस वक़्त शुरू की थी जब पुलिस को इस अवैध डील की जानकारी एक लोकल एक्टिविस्ट से मिली थी.वानी पुलिस ने स्थानीय अपराध शाखा (Local Crime Branch) के साथ मिलकर इस पूरे आपरेशन को अंजाम दिया. पुलिस ने बुधवार सवेरे मुकुतबन और वानी के बीच अवैध रूप से चल रही कोयले की तस्करी के खिलाफ कार्रवाई की और कथित रूप से बिना GST और अन्य TAX भरे होने वाली इस डील को रोकने में कामयाब रही.
करोड़ो रूपये का अवैध कारोबार
वानी पुलिस स्टेशन के निरीक्षक और मामले के जांच अधिकारी प्रदीप सिरस्कर ने इस खबर की पुष्टि करते हुए इस पूरे मामले में करोड़ो रुपए की टैक्स चोरी का संदेह जताया है. पुलिस को जानकारी मिली थी कि 8 ट्रकों में भरे कोयलों को अवैध तरीके से बेचने के लिए लेकर जाया जा रहा है.साथ ही इन कोयलों को बिना केंद्र सरकार को रॉयल्टी का भुगतान किए बेचा जाना था. पुलिस इस मामले में ये भी पता लगा रही है कि इस अवैध कारोबार के पीछे कौन कौन लोग शामिल हैं.
400 करोड़ का है पूरा कोयला घोटाला
पुलिस ने जिन कोयलों से भरे ट्रकों को जप्त किया है उनमें से हर एक ट्रक पर करीब 20 लाख 80 हज़ार का कोयला था. ऐसे में इस पूरे ऑपरेशन में पुलिस ने करीब 1 करोड़ 70 लाख की कीमत का कोयला जप्त किया है. वानी पुलिस के सूत्रों की माने तो ये पूरा घोटाला 400 करोड़ से ज्यादा का है. पुलिस की शुरुआती जांच में ये पता चला है कि ये कोयला कथित तौर पर बीएस इस्पात लिमिटेड नाम की कंपनी से जुड़ा हुआ था. पुलिस ने इस कंपनी से जुड़े कई लोगों के अलावा इसके ट्रांसपोर्टर किशोर अग्रवाल को भी पूछताछ के लिए समन किया है.
रॉयल्टी और जीएसटी से बचकर इस अवैध कोयले की बिक्री से केंद्र और राज्य सरकार के खजाने को भारी नुकसान पहुंचने की संभावना है.इस कार्रवाई को हाल के दिनों में कोयला माफिया के खिलाफ हुई सबसे बड़ी कार्यवाई के तौर पर देखा जा रहा है.पुलिस को शक है कि इस पूरे घोटाले में कई राजनीतिक ताकतों की भी सांठगांठ हो सकती है. वहीं इस कार्यवाई के बाद खनन समुदाय के आकाओं के बीच सदमे की लहर है.
HIGHLIGHTS
- क्राइम ब्रांच ने 8 ट्रकों को किया जब्त, अवैध रूप से चल रही थी कोयले की कालाबाजारी
- अवैध कालाबाजारी से सरकार को हो रहा करोड़ों का नुकसान
- नुकसान की भरपाई के लिए कालाबाजारी करने वालों के खिलाफ चलेगा अभियान