Prakash Ambedkar: महाराष्ट्र से लगातार नेताओं की गाड़ियों पर हमले की खबर सामने आ रही है. एक बार फिर से दक्षिण मुंबई से ठाणे की तरफ जाते वक्त शरद पवार गुट के नेता जितेंद्र आव्हाड की गाड़ी पर हमला किया गया. वहीं, इस बीच वंचित बहुजन अघाड़ी (वीबीए) के अध्यक्ष प्रकाश आंबेडकर ने नेताओं की गाड़ी पर हो रहे हमले को लेकर विवादित बयान दिया है. उन्होंने कहा कि इन चिल्लर नेताओं की कारें क्यों तोड़ रहे हैं. अगर हमला ही करना है तो मैं आपको चार नाम बताता हूं. आप शरद पवार, अजित पवार, देवेंद्र फडणवीस और उद्धव ठाकरे की कारों पर हमला करें. इस बयान को लेकर प्रकाश आंबेडकर की मुश्किलें बढ़ सकती है.
प्रकाश आंबेडकर का विवादित बयान
बता दें कि जितेंद्र आव्हाड पर हमले से पहले अजित पवार गुट के नेता अमोल मिटकरी की कार पर हमला किया गया था. इन दोनों ही नेताओं को प्रकाश आंबेडकर ने चिल्लर करार दे दिया और लोगों से दूसरे नेताओं की कारों को तोड़ने की अपील की. यह विवादित बयान आंबेडकर ने शुक्रवार को परभणी से गंगाखेड़ जाने के दौरान आयोजित एक जनसभा को संबोधित करते हुए दिया. जितेंद्र आव्हाड की कार तोड़ने का आरोप संभाजी राजे छत्रपति स्वराज्य संगठन के कार्यकर्ताओं पर लगे हैं. जिसके बाद धनंजय जाधव और अंकुश कदम के खिलाफ मामला दर्ज किया जा चुका है.
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इन नेताओं की कारों को की तोड़ने की अपील
बता दें कि आंबेडकर ने 24 जुलाई से 'आरक्षण संरक्षण यात्रा' शुरू की है और 7 अगस्त को अपनी यात्रा समाप्त करेंगे. इसके साथ ही उन्होंने ओबीसी नेताओं से यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया है कि समुदाय के 100 विधायक महाराष्ट्र राज्य विधानसभा के लिए नियुक्त किए जाए. आंबेडकर ने बीड जिले के अंबेजोगाई में एक भीड़ को संबोधित करते हुए कहा था कि यदि आप आरक्षण की रक्षा करना चाहते हैं, तो आपको यह सुनिश्चित करना होगा कि ओबीसी समुदाय के 100 विधायक राज्य विधानसभा के लिए चुने जाएं.
ओबीसी और मराठा समुदाय के लिए अलग-अलग आरक्षण की मांग
वहीं, आगामी विधानसभा को देखते हुए महाराष्ट्र में आरक्षण का मुद्दा गर्माता जा रहा है. ओबीसी आरक्षण छीनने की कोशिश का कोई भी राजनीतिक दल विरोध नहीं कर रहा है. ओबीसी समुदाय में शामिल होने के लिए 55 लाख प्रमाण पत्र दिए गए हैं. आंबेडकर ने कहा कि ओबीसी समुदाय की मुख्य मांग यह है कि ओबीसी और मराठा समुदाय के लिए अलग-अलग आरक्षण होना चाहिए. इन दोनों को ओबीसी समुदाय में शामिल नहीं किया जाना चाहिए. दोनों के लिए अलग-अलग आरक्षण होना चाहिए.