Manipur Violence: पूर्वोत्तर के राज्य मणिपुर में पिछले साल मई में शुरू हुई हिंसा पूरी तहत से खत्म नहीं हुई थी, सितंबर की शुरुआत में राज्य में हुए ड्रोन हमलों के बाद हिंसा की चिंगारी फिर से सुलग उठी. इसके बाद राज्य में सुरक्षा बल लगातार हिंसा फैलाने वाला तत्वों के खिलाफ अभियान चला रहे हैं. जिससे राज्य में किसी भी तरह की हिंसा को रोका जा सके. इस बीच सुरक्षा बलों ने चुराचांदपुर से भारी मात्रा में हथियार और गोला-बारूद बरामद किए हैं.
खेंगमोल पहाड़ी पर चला सर्च ऑपरेशन
दरअसल, मणिपुर पुलिस और असम राइफल्स की एक संयुक्त टीम ने चुराचांदपुर जिले के खेंगमोल पहाड़ी पर एक तलाशी अभियान चलाया. इस दौरान सुरक्षा बलों ने भारी मात्रा में हथियार और विस्फोटक जब्त किए. इस बारे में शनिवार को जानकारी दी गई. सुरक्षा बलों ने बताया कि संयुक्त टीम ने शुक्रवार को सर्च ऑपरेशन चलाया. इस दौरान हथियार और गोला बारूद बरामद किए गए.
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ये हथियार किए गए बरामद
सर्च ऑपरेशन के दौरान सुरक्षा बलों ने इलाके से भारी मात्रा में हथियार और गोला-बारूद बरामद किए. इसमें एक आंसू गैस की बंदूक, मैगजीन के साथ एक देसी 9 एमएम पिस्तौल, पांच 12 बोर सिंगल बैरल बंदूकें, जिंदा गोला बारूद, 13 इंस्टेंट मोर्टार गोले और पांच इंस्टेंट भारी मोर्टार जब्त किए हैं.
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पिछले सप्ताह भी चलाया था अभियान
बता दें कि मणिपुर पुलिस राज्य में लगातार सर्च अभियान चला रही है. पुलिस ने पिछले सप्ताह भी एक ऑपरेशन चलाया. ये सर्च ऑपरेशन तामेंगलोंग जिले के कुइलोंग ग्राम प्राधिकरण के सदस्यों के साथ मिलकर चलाया गया. इस दौरान पुलिस ने पांच एकड़ में लगे संदिग्ध नर्सरी पोस्त के पौधों को नष्ट कर दिया. पुलिस ने बताया था कि इन पौधों की खेती अज्ञात व्यक्तियों द्वारा की गई थी.
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3 मई 2023 को मणिपुर में शुरू हुई थी हिंसा
पूर्वोत्तर के राज्य मणिपुर में 3 मई 2023 को हिंसा की शुरुआत हुई थी. ये हिंसा दो समुदाय मैतई और कुकी के बीच शुरू हुई थी. राज्य में मैतई बहुसंख्यक हैं जबकि कुकी समुदाय अल्पसंख्यक है. इस हिंसा में सैकड़ों लोगों की मौत हो गई और हजारों लोग घायल हो गए. जबकि लाखों लोगों को पलायन करना पड़ा. इस हिंसा को रोकने के लिए सेना, अर्धसैनिक बलों और पुलिस ने मोर्चा संभाला लेकिन राज्य एक साल से ज्यादा समय तक हिंसा का शिकार बना रहा.