Advertisment

अनुमति 20 की... मौलाना के जनाज़े में पहुंचे 10 हजार से ज्यादा, अब कोरोना के डर से 3 गांव सील

नियम-कायदों के तहत अंतिम संस्कार में भी 20 से ज्यादा लोगों को जाने की इजाजत नहीं है. इसके बावजूद असम (Assam) के नगांव ज़िले में सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ाते हुए एक मौलाना को आखिरी विदाई देने के लिए करीब 10 हजार लोग इकट्ठा हो गए.

author-image
Nihar Saxena
New Update
Assam

वायरल ट्वीट से ली गई फोटो.( Photo Credit : न्यूज नेशन)

Advertisment

देश भर में लॉकडाउन (Lockdown) के बाद अब अनलॉकडाउन की प्रक्रिया अब तेजी पकड़ रही है. इसके साथ ही सोशल डिस्टेंसिंग (Social Distancing) के नियमों का कड़ाई से पालन कराया जा रहा है. इसके नए नियम-कायदों के तहत अंतिम संस्कार में भी 20 से ज्यादा लोगों को जाने की इजाजत नहीं है. इसके बावजूद असम (Assam) के नगांव ज़िले में सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ाते हुए एक मौलाना को आखिरी विदाई देने के लिए करीब 10 हजार लोग इकट्ठा हो गए. बाद में प्रशासन को मजबूरन 3 गांवों को सील करने पड़े. मौलाना साहब विधायक अमिनुल इस्लाम के पिता था. यह वही विधायक हैं जिन पर राष्ट्रद्रोह का केस चल रहा है और फिलहाल जमानत पर बाहर आए हुए हैं.

यह भी पढ़ेंः पुलवामा में CRPF के काफिले पर आतंकी हमला, IED ब्लास्ट के जरिए जवानों को बनाया निशाना

10 हज़ार से ज्यादा लोग
एक अंग्रेजी अखबार के मुताबिक, ऑल इंडिया यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट (AIUDF) के विधाक अमिनुल इस्लाम के पिता खैरुल इस्लाम का 2 जुलाई को देहांत हो गया. 87 साल के उनके पिता नॉर्थ ईस्ट में ऑल इंडिया जमात उलेमा और आमिर-ए-शरियत के उपाध्यक्ष थे. जाहिर है वह अपने इलाके में बेहद मशहूर थे. ऐसे में उनके जनाजे में हजारों की संख्या में लोग पहुंच गए. जिला प्रशासन के मुताबिक करीब 10 हजार लोग वहां मौजूद थे.

यह भी पढ़ेंः Kanpur Encounter: थाने से फोन कर काटी गई थी गांव की बिजली, ऑटोमैटिक राइफल से हुई थी फायरिंग

इसके बाद हुआ मामला दर्ज
नगांव के उपायुक्त जादव सैकिया ने कहा कि इस सिलसिले में अब तक दो मामले दर्ज किए गए हैं. एक पुलिस द्वारा और दूसरा एक मजिस्ट्रेट द्वारा जो घटनास्थल पर मौजूद थे. सैकिया ने कहा कि कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए आसपास के तीन गांवों को लॉकडाउन कर दिया गया है. उन्होंने कहा कि कोई भी इस दौरान न सोशल डिस्टेंसिंग को मान रहा था और न ही किसी ने मास्क लगाया था.

यह भी पढ़ेंः अमेरिका के स्वतंत्रता दिवस पर PM मोदी ने दी बधाई, जवाब में ट्रंप ने कहा- America loves India

विधाक अमिनुल इस्लाम पर है राष्ट्रद्रोह का आरोप
वहीं विधायक अमिनुल इस्लाम ने कहा कि उनके पिता बेहद लोकप्रिय व्यक्ति थे और उनकी बहुत बड़ी संख्या उनके चाहने वाले भी थे. उन्होंने कहा, 'हमने मृत्यु और अंतिम संस्कार के बारे में प्रशासन को सूचित किया था. पुलिस ने लोगों को वहां पहुंचने से मना भी किया था. कई गाड़ियों को वापस लौटने के लिए भी कहा गया था, लेकिन फिर भी किसी तरह लोग वहां पहुंच गए.' बता दें कि इस साल अप्रैल में अमीनुल इस्लाम का एक कथित ऑडियो क्लिप वायरल हुआ था. उन पर आरोप लगा था कि उन्होंने सांप्रदायिक भावना को भड़काने की कोशिश की. राजद्रोह के तहत उन्हें गिरफ्तार भी किया गया था. वह इन दिनों जमानत पर हैं.

HIGHLIGHTS

  • लोकप्रिय मौलाना के जनाजे में शामिल हुए 10 हजार से ज्यादा लोग.
  • स्थानीय विधायक के पिता थे, जो फिलहाल राष्ट्रद्रोह का आरोप झेल रहे हैं.
  • असम की इस घटना के सामने आने के बाद तीन गांव किए गए सील.
covid-19 corona-virus assam Social Distancing Maulana Funeral
Advertisment
Advertisment