गुरु नानक जयंती से ठीक पहले केंद्र की मोदी सरकार ने सिख श्रद्धालुओं को बड़ा तोहफा देते हुए करतारपुर साहिब कॉरिडोर को खोलने की घोषणा की है. करतारपुर कॉरिडोर को लेकर पंजाब कांग्रेस में फिर खींचतान शुरू हो गई है. बिना नवजोत सिंह सिद्ध के ही सीएम चरणजीत सिंह चन्नी ने गुरुवार को श्रीगुरु नानक देव के प्रकाशोत्सव के अवसर पर पाकिस्तान के नरोवाल में गुरुद्वारा श्रीकरतारपुर साहिब में मत्था टेका है. इस मुद्दे को लेकर पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी (CM Charanjit Singh Channi) और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू (Navjot Singh Sidhu) एक बार फिर आमने-सामने आ गए हैं.
सूत्रों के अनुसार, पंजाब सरकार की ओर से केंद्रीय गृह मंत्रालय (MHA) को पहले जत्थे में 50 लोगों को साथ ले जाने की अनुमति थी, लेकिन सीएम चरणजीत सिंह चन्नी अपने साथ अपने कुछ करीबी कैबिनेट मंत्रियों और उनके परिवारों के साथ अपने परिवार को लेकर चले गए और पंजाब सरकार की ओर से नवजोत सिंह सिद्धू का नाम इस जत्थे के साथ जाने के लिए MHA को अप्रूवल के लिए भेजा ही नहीं गया.
सूत्रों के मुताबिक, नवजोत सिंह सिद्धू को देर रात पंजाब सरकार की ओर से जानकारी दी गई कि वो सीएम चरणजीत सिंह चन्नी के साथ जा रहे दल में शामिल नहीं हैं और उन्हें गुरुपर्व के अगले दिन 20 नवंबर को करतारपुर साहिब गुरुद्वारे जाने की परमिशन मिली है. जबकि नवजोत सिंह सिद्धू सीएम के डेलिगेशन के साथ जाने को लेकर पूरी तैयारी कर चुके थे और काफी उत्साहित थे. सूत्रों के मुताबिक, नवजोत सिंह सिद्धू इस पूरे घटनाक्रम से काफी नाराज हैं और सीएम चरणजीत सिंह चन्नी के खिलाफ कांग्रेस आलाकमान के सामने अपनी बात रख सकते हैं.
Source : News Nation Bureau