जैसलमेर में एक मौलवी पर मुकदमा दर्ज करने का मामला सामने आया है. आरोप है कि मौलवी ने जानबूझकर लॉकडाउन का उल्लंघन किया है. मामला जैसलमेर के बड़ली गांव का है. मौलवी तब्लीग जमात का पश्चिमी राजस्थान का मुख्य पदाधिकारी है. जानकारी के मुताबिक मौलवी 13 से 17 मार्च तक तबलीगी जमात के साथ देश-प्रदेश में घूमा था, पोकरण में भी 23 मार्च से लगातार गांव-गांव घूमकर वह लोगों को लॉकडाउन का पालन न करने को लेकर उकसाता रहा. उस पर धारा 144 व सोशल डिस्टन्सिंग का पालन न करने को भी उकसाने का आरोप है.
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बाद में मौलवी खुद कोरोना पॉजिटिव पाया गया. पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है. जहां-जहां मौलवी गया था, उन गांव को सील कर दिया गया है. मौलवी पर धारा 269,270,271,188 और 51 आपदा एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया है.
बता दें, शिया सेंट्रल वक्फ बोर्ड (Waqf Board) के चेयरमैन वसीम रिजवी ने कहा कि तबलीगी जमात जाकिर हुसैन की बी टीम की तरह काम कर रही है. वसीम रिजवी ने गुरुवार को जारी अपने बयान में कहा कि जाकिर नाईक ने तबलीगी जमात की मदद से भारत में आत्मघाती हमले (Suicide Attack) की साजिश रची है. रिजवी का आरोप है कि तबलीगी जमात की साजिश हिंदुस्तान में एक लाख से ज्यादा लोगों को मारने की थी.
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ईरान से मंगवाया फतवा
डॉक्टरों के साथ मारपीट करने की जमातियों की खबर पर रिजवी ने कहा कि डॉक्टरों को परेशान करके उनका मनोबल कम करने की कोशिश की जा रही है. यह भी इन सभी तबलीगी जमातियों की साजिश का एक हिस्सा है. वसीम रिजवी इससे पहले ईरान से एक फतवा मंगाकर इन तबलीगी जमातियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर चुके हैं, उन्होंने कहा था कि ईरान के फतवे में यह कहा गया है कि अगर कोई व्यक्ति महामारी फैलाता है, तो इसका जिम्मेदार वही होता है.