राजस्थान के डूंगरपुर जिले के सागवाड़ा उपखण्ड और सीमलवाड़ा तहसील क्षेत्र में रविवार को आए तूफान ने खूब कहर बरपाया. बिजली गिरने से यहां दो लोगों की मौके पर ही मौत हो गई. वहीं एक ही परिवार के पांच लोगों के साथ कुल सात लोग झुलस गए. इन लोगों को अलग-अलग अस्पताल में भर्ती कराया गया. सागवाड़ा थाना प्रभारी अजय सिंह राव ने बताया कि दोपहर बाद गिरी बिजली की चपेट में आए भासौर निवासी जितेंद्र (46) पुत्र हरिशंकर पण्ड्या की मौके पर मौत हो गई. समीप ही खेतों में काम कर रहे भासौर के ही विशाल (32) एवं कमलेश (52) झुलस गए. अभी दोनों की हालत स्थिर है. उनका निजी अस्पताल में उपचार जारी है. पुलिस ने पोस्टमार्टम कराकर शव परिजनों को सौंपा.
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एक ही परिवार पर गिरी बिजली
इधर, सीमलवाड़ा में ग्राम पंचायत नागरिया के कटारा फला में बिजली एक ही परिवार पर गिरी. घटना में कैलाश कटारा (12) की मौत हो गई, जबकि परिवार के अन्य पांच सदस्यों को लोगों की मदद से अस्पताल पहुंचाया गया.
घटना का वीडियाे वायरल
सीमलवाड़ा क्षेत्र के समीप गलियाकोट में होकर गुजरे तूफान की तबाही का एक वीडियो भी वायरल हुआ है. इसमें तूफान के बीच टीन टप्पर उड़कर पेड़ों पर पहुंचे हुए दिख रहे हैं. घटना के बाद लोगों ने घर से बाहर निकलकर लोगों के हुए नुकसान पर चर्चा की.
कर्नाटक में 4 लोगों की मौत
कर्नाटक में पिछले 24 घंटों के दौरान चक्रवात 'तौकते' के कारण हुई भारी बारिश और तेज हवाओं के कारण तटीय और मध्य कर्नाटक में अलग-अलग घटनाओं में चार लोगों की मौत हो गई. एक मौसम अधिकारी ने रविवार को ये जानकारी दी. कर्नाटक राज्य प्राकृतिक आपदा निगरानी केंद्र के प्रमुख सुनील गावस्कर ने बताया, "राज्य में चक्रवात के कारण हुई भारी बारिश हुई जिसकी वजह से उत्तरा कन्नड़, उडुपी, चिक्कमगलुरु और शिवमोगा जिलों में शनिवार देर रात से अलग-अलग घटनाएं हुई. "
कोझिकोड से समुद्र में गए 15 मछुआरे लापता
कोझीकोड के बेपोर बंदरगाह से पांच मई को समुद्र में उतरे कम से कम 15 मछुआरे लापता हैं. ये सभी तमिलनाडु के मूल निवासी हैं. 5 मई को बेपोर के तट से रवाना हुई 'अजमीर शा' नाव लापता है और नाव पर सवार किसी भी मछुआरे के बारे में कोई जानकारी नहीं है. इसी बीच एक अन्य नाव जो उसी समय बेपोर से समुद्र में गई थी, उसके इंजन में कुछ यांत्रिक खराबी के कारण वो गोवा तट पर पहुंच गई है.
इस नाव 'मिलाद-3' में तमिलनाडु के 15 लोग भी हैं और ये सभी गोवा से 7 समुद्री मील की दूरी पर हैं. मछुआरों के संगठनों ने तटरक्षक बल और नौसेना से तत्काल बचाव अभियान शुरू करने की अपील की है.