देश में इस बार गर्मी मार्च-अप्रैल से ही अपना रंग दिखा रही है. मई में तो गर्मी से लोगों का हाल-बेहाल है. देश के कई राज्यों में तापमान 45 डिग्री के पार है. इन इलाकों में लू के थपेड़े चल रहे हैं. उत्तर भारत समेत राजस्थान में प्रचंड गर्मी ने लोगों का जीना मुहाल कर दिया है. राजस्थान के 18 जिलों में लू के थपेड़े चल रहे हैं. इसमें बाड़मेर, चूरू, सीकर, जयपुर समेत कई जिले शामिल हैं. मौसम विभाग ने आज से पूरे राजस्थान में हीटवेव का अलर्ट जारी कर दिया है. हीटस्ट्रोक से ब्रेन स्ट्रॉक, हार्ट संबंधी दिक्क़त और ऑर्गन फेलियर जैसी जानलेवा दिक्क़ते भी लोगों को हो सकती है. क्या है हीटस्ट्रॉक और कैसे बच सकते हैं.
राजस्थान में अब आसमान से आग बरसना शुरू हो चुका है. लोग अब लू के थपेड़ों से जूझते नजर आ रहे है. लू के थपेड़े आने वाले दिनों में राजस्थान को और ज्यादा झूलसा सकते है. हीटवेव के दौरान राजस्थान में हर साल कम से कम 40 लोग मौत का शिकार हो जाते है. अगर सावधानी नहीं बरती गई तो ये भी सच है कि यही हीटवेव जानलेवा भी बन सकती है. हीटस्ट्रॉक, हाइपोटेंशन के चलते अचानक लोग हीटवेव में गश खाकर गिर जाते है. हीटवेव में आपको हो सकती है कौनसी दिक्क़ते, कितना सावधान रहने की जरूरत और कैसे रखें अपना ध्यान.
दरअसल, तेज गर्मी और लू चलने के समय हीटस्ट्रॉक का खतरा बढ़ जाता है. ज़ब किसी व्यक्ति को लू लगती है उसमें बेहोशी, भ्रम जैसे लक्षण सामने आते है. वैसे तो छोटे बच्चों और बुजुर्गों को लू ज्यादा अपनी जद में लेती है, लेकिन तेज लू के दौरान किसी भी उम्रवर्ग का व्यक्ति इसकी जद में आ सकता है, लू से पीड़ित व्यक्ति को अगर तुरंत ईलाज नहीं मिलता तो उसके ऑर्गन फेल, कोमा, ब्रेन हेमरेज या मौत का खतरा भी हो सकता है.
लू लगने के बहुत से लक्षण होते हैं, जिसमें बॉडी का टेम्परेचर 40 डिग्री से ऊपर जाना, स्किन रेड और ड्राई हो जाती है. सिर में तेज दर्द, कमजोरी, वोमेटिंग लू लगने के लक्षण है. लू लगने की स्थिति में शरीर में पानी की कमी होती है और बॉडी डिहाईड्रेशन की तरफ बढ़ती है जो बॉडी के लिए बड़ी परेशानी बन जाता है. इस मौसम में लम्बे समय तक धूप में खड़े नहीं रहना चाहिए, समय समय पर पानी पीते रहना चाहिए. सर ढककर रहना चाहिए.
Source : News Nation Bureau